ट्रिब्यून न्यूज सर्विस
चंडीगढ़, 14 जुलाई
सरकारी राशन डिपुओं पर अनाज के लिए लंबी लाइनें और फिर कम राशन मिलने की शिकायतें अब गुजरे वक्त की बात होने जा रही है। हरियाणा सरकार उपभोक्ताओं के लिए ग्रेन एटीएम स्थापित करने की योजना पर काम कर रही है। इतना ही नहीं पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर देश का पहला ग्रेन एटीएम हरियाणा के गुरुग्राम जिले में स्थापित भी कर दिया गया है।
उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला, जिनके पास खाद्य एवं आपूर्ति विभाग का प्रभार भी है, का कहना है कि ग्रेन एटीएम लगाने का मकसद ‘राइट क्वॉवन्टिटी टू राइट बेनिफिशरी’ है। सरकारी दुकानों से राशन लेने वालों को समय पर और पूरा राशन न मिलने की तमाम शिकायतें दूर हो जाएंगी। न केवल उपभोक्ताओं को फायदा मिलेगा, बल्कि सरकारी डिपुओं पर अनाज घटने का झंझट भी खत्म होगा और साथ ही आएगी सार्वजनिक अनाज वितरण प्रणाली में पहले से अधिक पारदर्शिता। उन्होंने कहा कि गुरुग्राम जिले के फर्रूखनगर में यह पायलट प्रोजेक्ट सफल होने के बाद इन अन्न आपूर्ति मशीनों को प्रदेशभर में सरकारी डिपुओं पर लगाने की योजना है।
ऐसे काम करेगी यह मशीन
यह एक स्वचालित मशीन है जो कि बैंक एटीएम की तर्ज पर कार्य करती है। यूनाइटेड नेशन के वर्ल्ड फूड प्रोग्राम के तहत स्थापित की जानी वाली इस मशीन को ‘ऑटोमेटिड मल्टी कमोडिटी ग्रेन डिस्पेंसिंग’ मशीन कहा गया है। इस कार्यक्रम से जुड़े अधिकारी अंकित सूद का कहना है कि अनाज के मापतोल को लेकर इसमें त्रुटि न के बराबर है और एक बार में यह मशीन 70 किलो तक अनाज 5 से 7 मिनट में निकाल सकती है। मशीन में टच स्क्रीन के साथ एक बायोमेट्रिक सिस्टम है, लाभार्थी को आधार या राशन कार्ड का नंबर डालना होगा। बायोमेट्रिक से सुनिश्चित करने पर सरकार द्वारा निर्धारित अनाज स्वत: मशीन के नीचे लए बैग में भर जाएगा। इस मशीन के माध्यम से तीन तरह के अनाज-गेहूं, चावल और बाजरा-का वितरण किया जा सकता है। फर्रुखनगर में स्थापित ग्रेन एटीएम मशीन से गेहूं का वितरण शुरू कर दिया गया है।