एक्सपायरी कीटनाशक दवाई बेचना पड़ा महंगा, 15 दिनों के लिए लाइसेंस रद्द
सोनीपत, 22 मई (हप्र)
किसान को एक्सपायरी कीटनाशक दवाई बेचने वाले विक्रेता पर कृषि विभाग की गाज गिरी है। कृषि विभाग द्वारा बैठायी गई कमेटी की जांच रिपोर्ट के आधार पर संबंधित कीटनाशक दवाई विक्रेता का कीटनाशक बेचने का लाइसेंस 15 दिनों के लिए रद्द कर दिया गया है। यही नहीं सख्त निर्देश जारी किए गए हैं कि भविष्य में इस तरह की गलती दोबारा न हो और नियमों का पालन करते हुए ही दवाई बेचने का काम करें। अन्यथा बड़ी कार्रवाई की जाएगी।
बता दें कि सिसाना गांव निवासी किसान देवेंद्र सिंह ने 2 मई को शिकायत दी थी कि खरखौदा के दिल्ली रोड पर स्थित दवाई विक्रेता ने उसे एक्सपायरी कीटनाशक दवाई बेची है। हालांकि किसान इस संबंध में पक्का बिल प्रस्तुत नहीं कर पाया, परंतु मामले की गंभीरता को देखते हुए कृषि विभाग द्वारा एक टीम का गठन करके जांच शुरू थी।
संबंधित दवाई विक्रेता की दुकान पर सीएम फ्लाइंग ने भी छापेमारी करके एक्सपायरी दवाई बरामद की थी। दुकान पर एक्सपायरी स्टॉक पाया जाना दर्शाता है कि कीटनाशकों के भंडारण, संचालन एवं विक्रय में लापरवाही बरती गई है, जोकि नियमों की अवहेलना है। ऐसे में कृषि विभाग ने संबंधित दुकानदार का कीटनाशक विक्रय लाइसेंस 15 दिनों के लिए निलंबित कर दिया गया है।
खाद के साथ जबरदस्ती अन्य सामान बेचना भी पड़ा महंगा : वहीं दूसरी तरफ गांव भैंसवान कलां गांव के किसान संदीप की शिकायत पर हरसाना कलां गांव में स्थित खाद की दुकान संचालित करने वाले खाद विक्रेता पर भी कृषि विभाग ने कार्रवाई करते हुए उसका खाद बेचने का लाइसेंस 7 दिनों के लिए रद्द किया है। दरअसल, किसान ने शिकायत दी थी कि खाद विक्रेता ने खाद के साथ उसे अन्य सामान खरीदने के लिए विवश किया है। शिकायत मिलने के बाद जांच टीम का गठन कृषि विभाग की तरफ से किया गया था। जांच टीम ने पाया कि बिना वैध रसीद के उर्वरक की बिक्री की गई और इसके अलावा टैगिंग में भी संलिप्तता पाई गई। खाद विक्रेता के खिलाफ पाए गए तथ्यों व गठित टीम की रिपोर्ट के आधार पर कार्रवाई करते हुए लाइसेंस का 7 दिनों के लिए निलंबित कर दिया गया है।