कपूरथला, 26 जुलाई (निस)
काली बेई में भरी जलकुंभी के कारण पानी का बहाव ना होने की वजह से पानी किनारों को लांघ कर खेतों में भर गया जिससे हजारों एकड़ धान की फसल डूब गई है। हालांकि जिला प्रशासन की तरफ से बाढ़ से बचाव के तमाम प्रबंध करने के दावे बारिश के पानी में ही बह गए है। अगर ब्यास एवं सतलुज में ज्यादा पानी आ गया तो काली बेई ओर भी ज्यादा खतरनाक हो जाएगी क्योंकि यह बेई भी दरिया ब्यास में ही जाकर गिरती है। ब्यास में जलस्तर बढऩे से बेई का पानी ओर अधिक क्षेत्र में फैल जाएगा। समय रहते बेई की सफाई ना होने की वजह से काली बेई ने तबाही मचा रखी है। एक दो तीन दिन के बाद हो रही बरसात और दूसरा काली बेई में पानी का बहाव बढऩे से भुलत्थ तहसील के दर्जनों गांवों के अलावा दुर्गापुर, मैरीपुर, कडाल, झल बीबड़ी वाल, रत नौ आबाद, शिकारपुर, जार्जपुर आदि गांवों में किसानों के खेतों में बेई का पानी भर चुका है। इससे भुलत्थ, कपूरथला व सुल्तानपुर लोधी में काली बेई के बढ़े जलस्तर से सैकड़ों एकड़ धान की फसल बाढ़ की चपेट में आ गई है।
बीते शनिवार रात हुई भारी बारिश ने किसानों को चिंता में डाल दिया है। वर्षा से निचले क्षेत्रों में ओर ज्यादा पानी भर गया है। भुलत्थ में भी अभी बाढ़ जैसे हालात बने हुए हैं और किसानों की फसल पानी में डूबी हुई है। उधर सब डिवीजन भुलत्थ के साथ लगती काली बेई में भी बारिश का पानी बढऩे कारण बाढ़ जैसी स्थिति बनी हुई है। बेई में पानी ओवरफ्लो होकर कई दिनों से खेतों में पानी भरा है, जिससे धान की फसल खराब होने का किसानों को डर सता रहा है पिछले दो दिनों से हो रही भारी वर्षा कारण हर तरफ जल थल हुई पड़ी है। गांव भदास के किसान निशान सिंह ने बताया कि उनके गांव से भदास जाने वाली लिक पर सरकारी पुली बनी हुई है, जिस पर कुछ लोगों की ओर से दीवार बना दी गई है। इस संबंध में बीडीपीओ नडाला को लिखित जानकारी दी जा चुकी है, लेकिन यह पुली बंद होने कारण भदास के किसानों के 250 एकड़ के करीब फसल बरबाद होने की कगार पर खड़ी है।
जलकुंभी से भरी पड़ी है पूरी बेई
गांव मैरीपुर के सरपंच चरनजीत सिंह का कहना है कि उनकी आठ एकड़ धान की फसल बेई का पानी बाहर आने से डूब चुकी है। उस पर लगातार वर्षा होने से स्थित ओर खराब हो गई है। चरनजीत सिंह ने बताया कि गांव जैनपुर का पुल काफी नीचे बना हुआ है और पूरी बेई जलकुंभी से भरी पड़ी है, जिससे निकालने के लिए प्रशासन ने कोई कदम नहीं उठाया। अभी दो चार दिन पहले एक जेसीबी आई थी, उसने दुर्गापुर व जैनपुर के पुल के पास थोड़ी सी बूटी निकाली थी। जलकुंभी के कारण पानी का बहाव नहीं हो पा रहा है तथा पानी बेई के किनारे को लांघ कर खेतों में बहने लगी है जिससे किसानों को नुकसान होने का डर सता रहा है।