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पानीपत : सनौली खुर्द परचेज सेंटरों पर किसानों को मिल रहा दिल्ली सब्जी मंडी वाला भाव

यमुना तलहटी के करीब एक दर्जन गांवों के किसानों ने परंपरागत खेती छोड़ शुरू किया सब्जियों, फलों को उगाना
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पानीपत में रविवार को सनौली खुर्द परचेज सेंटर पर सब्जियों के क्रेटों की काउंटिंग करते कर्मचारी। -हप्र
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बिजेंद्र सिंह/हप्र

पानीपत, 23 मार्च

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पानीपत में हरिद्वार हाईवे पर स्थित सनौली खुर्द के पास करीब एक दर्जन बड़ी कंपनियों द्वारा सब्जियों व फलों की खरीद के लिये परचेज सेंटर खोले गये हैं, जहां कंपनी प्रतिनिधियों द्वारा किसानों से सीधे सब्जियां व फल खरीदे जाते हैं। उसके बाद कंपनियाें के दिल्ली, नोएडा, गुरुग्राम व सोनीपत आदि गोदामों में भेजे जाते है और वहां से कंपनियों द्वारा जरूरत के अनुसार अपने रिटेल सेंटरों पर इन्हें भेजा जाता है। सनौली खुर्द में रिलाइंस, स्विगी, एमाजोन, बिग बास्केट, बिरला मोर, कंट्री डिलाइट आदि के सेंटर हैं। कुछ किसानों द्वारा सहकारी समिति बनाकर भी परचेज सेंटर बनाये गये हैं और वहां पर भी किसानों से सब्जियां खरीदी जाती हैं। इन सेंटरों पर कंपनियों द्वारा दिल्ली की आजादपुर सब्जी मंडी के रेट के अनुसार किसानों को भाव दिया जाता है। कपंनी द्वारा खरीदी गई सब्जियों की राशि अगले दिन किसानों के बैंक खाते में ट्रांसफर कर दी जाती है। इससे किसानों को पेमेंट की भी कोई दिक्कत नहीं रहती। इसके अलावा किसानों को अब अपनी सब्जियों को बेचने के लिये दिल्ली की आजादपुर सब्जी मंडी या पानीपत की सब्जी मंडी में लेकर जाने की जरूरत

नहीं पड़ती।

हरिद्वार हाईवे पर खोले गये इन परचेज सेंटरों और बागवानी विभाग की योजनाओं के चलते यमुना तलहटी के सनौली खुर्द, तामशाबाद, रिशपुर, रामडा आर, झाम्बा व नवादा आर सहित एक दर्जन गांवों के किसानों में सब्जियों की खेती के प्रति रूझान बढा है।

यमुना तलहटी के सनौली के आसपास के गांवों के किसानों द्वारा कई हजार एकड़ में अब सब्जियों की खेती की जा रही है। किसानों के खेतों से कुछ किमी की दूरी पर ही उनकी सब्जियां आजादपुर मंडी के भाव पर बिक जाती हैं। इन परचेज सेंटरों से रोजाना 4 व साढ़े 5 टन वाली 20-22 गाड़ियां सब्जियों की भरकर दिल्ली, नोएडा, सोनीपत व गुरुग्राम आदि गोदामों में भेजी जाती हैं।

रिलाइंस सेंटर के इंचार्ज बोले- किसानों से सीधे की जा रही खरीद

रिलायंस कंपनी के सेंटर इंचार्ज विकास ने बताया कि यहां परचेज सेंटरों पर किसानों से सीधे सभी मौसमी सब्जियों की खरीद की जाती है। किसानों से अब फलों में नाशपाती, तरबूज, खरबूजा, लीची व आडू आदि भी खरीदना शुरू किया गया है। सब्जियों व फलों की पेमेंट अगले दिन ही ऑनलाइन किसानों के बैंक खातों में कंपनी द्वारा ट्रांसफर कर दी जाती है। उन्होंने बताया कि हमारी 4-4 टन वाली करीब चार गाड़ियां रोजाना सब्जियों की जाती है, जबकि इन सभी सेंटरों से रोजाना 20-22 गाड़ियां सब्जियों की भरकर भेजी जाती है।

ज्यादा मुनाफा कमा सकते है किसान : डीएचओ

डीएचओ डा. शार्दूल शंकर ने बताया कि उद्यान विभाग द्वारा सब्जियों व फलों की खेती को बढ़ावा देने के लिये अनेक योजनाएं चलाई गई हैं और इसमें किसानो को विभिन्न स्कीमों के तहत अनुदान भी दिया जाता है। किसान विभाग की योजनाओं का लाभ लेकर बेमौसमी सब्जियों का उत्पादन करके और ज्यादा पैदावार करके अधिक मुनाफा पा सकते है।

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