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औषधीय पौधों से महकेंगे स्कूल, स्थापित होंगे हर्बल पार्क

नयी योजना आयुष विभाग करेगा 25 हजार रुपये की मदद
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चंडीगढ़, 22 मार्च (ट्रिन्यू)

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हरियाणा के सरकारी स्कूल अब औषधीय पौधों से महकेंगे। विद्यार्थियों को प्रकृति व हरियाली से जोड़ने के लिए स्कूलों में हर्बल पार्क स्थापित होंगे। इन पार्कों में औषधीय पौधों के साथ अन्य प्रजापतियों के पेड़ लगाए जाएंगे। हर्बल पार्क के जरिये विद्यालयों के सौंदर्यीकरण को बढ़ाने के साथ विद्यार्थियों को दैनिक उपयोग में लाई जाने वाली औषधियों से परिचित कराया जाएगा।

स्कूलों में तुलसी, आंवला, अश्वगंधा, सतावरी, गुडमर, गुग्गल, कलीहरी, पीपली, गंधा, पिपरमिंट, चित्रक, नीम, नागेश्वर समेत कई अन्य प्रकार के पौधे लगाए जाएंगे जिन्हें विभिन्न रोगों के इलाज के लिए उपयोग में लाया जाता है। विद्यालय मुखियाओं को निर्देश दिए हैं कि हर्बल गार्डन स्थापित करने का प्रस्ताव आयुष विभाग को भेजा जाए। इन पार्कों में औषधीय महत्व वाली वनस्पतियां विकसित करके विद्यार्थियों को उनकी पहचान कराई जाएगी।

शिक्षा निदेशालय द्वारा सभी जिला शिक्षा अधिकारी और जिला मौलिक शिक्षा अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि आयुष विभाग के निर्देशानुसार रोगों की रोकथाम और स्वास्थ्य संवर्धन को लेकर औषधीय पौधों की महत्ता के प्रति विद्यार्थियों को अवगत कराया जाएगा। जो विद्यालय हर्बल गार्डन स्थापित करेंगे उन्हें आयुष विभाग की ओर से वित्तीय सहायता दी जाएगी। शिक्षा निदेशालय द्वारा निर्देश दिए गए हैं कि विद्यालय में औषधीय पौधों की 10 से 15 प्रजातियों के लिए 500 वर्ग मीटर या इससे अधिक जगह किसी विद्यालय में है तो वह आवेदन कर सकते हैं। हर्बल गार्डन के लिए स्कूलों को आयुष विभाग की ओर से वित्तीय सहायता दी जाएगी। 500 वर्ग ममीटर के लिए प्रति विद्यालय 25 हजार रुपये की दर से वित्तीय सहायता दी जाएगी। स्थापना के लिए प्रथम वर्श और अगले चार वर्षों के लिए रखरखाव लागत के तौर पर प्रति विद्यालय सात हजार रुपये दिए जाएंगे। यदि ऐसे स्कूल हर्बल गार्डन स्थापित करने की तैयारी कर रहे हैं, जिनका क्षेत्र 500 वर्ग मीटर से कम है, उन्हें आर्थिक सहायता नहीं दी जाएगी। जिला शिक्षा अधिकारियों को जिले में एक इको क्लब को-आर्डिनेटर बनाने के निर्देश दिए हैं, जो हर्बल पार्क स्थापित करने वाले स्कूलों की वास्तविकता को जांचेगा।

हरियाली तीज और छोटी दीवाली पर रहेगी छुट्टी : शिक्षा विभाग ने हरियाली तीज और छोटी दीवाली पर स्थानीय अवकाश घोषित किया है। विद्यालय निदेशालय की ओर से निदेशक एससीईआरटी गुरुग्राम, जिला शिक्षा अधिकारी, जिला मौलिक शिक्षा अधिकारी और खंड शिक्षा अधिकारियों को निर्देश दिए गए हैं कि विभाग की ओर से स्थानीय पर्व व जयंती पर अवकाश घोषित किया गया है, इनमें 23 मई को बुद्ध पूर्णिमा पर्व शामिल है। 6 सितंबर को हरियाली तीज और 31 अक्टूबर को छोटी दीवाली पर भी स्कूलों की छुट्टी रहेगी। इसके साथ ही 26 दिसंबर को शहीद उधम सिंह जयंती पर भी अवकाश घोषित किया है।

शिक्षक और विद्यार्थी करेंगे देखरेख

शिक्षा निदेशालय की ओर से स्पष्ट निर्देश दिए गए हैं कि हर्बल पार्क का रखरखाव के लिए विद्यालय जिम्मेदार होंगे। शिक्षक व विद्यार्थियों के साथ अभिभावक-शिक्षक संघ व एनजीओ की भागीदारी रहेगी। इसके साथ ही स्कूल की छुटि्टयों के साथ रखरखाव की विशेष व्यवस्था की जाएगी। विद्यार्थियों को पौधों को लेबल करने, पानी देने, निराई व गुड़ाई की जाएगी, जिससे उनके द्वारा पोषित प्रजातियों के लाभों और उपयोग के बारे में विद्यार्थियाें का ज्ञान बढ़ेगा।

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