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दलाल ने कराया था बार्डर पार...न कागज की जांच हुई न ही कोई सवाल!

अवैध तरीके से रह रहे बांग्लादेशियों ने सुनायी दास्तां....मजदूरी की तलाश में 12 साल पहले चोरी-छिपे आये थे भारत
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झज्जर जिले में एक ईंट-भट्ठे पर सर्च अभियान के दौरान बांग्लादेशियों से पूछताछ करती पुलिस। -हप्र
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प्रथम शर्मा/हप्र

झज्जर, 20 मई

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के लिए गुजर-बसर कर रहे बंग्लादेशियोें की पहचान और उन्हें धरपकड़ करने का क्रम इन दिनों प्रदेश व देशभर में जारी है।

झज्जर जिले में भी पुलिस के सर्च अभियान के दौरान 174 के करीब बांग्लादेशी पकड़े गए हैं जोकि पिछले दस-बारह साल से जिले के ईंट-भट्ठों पर काम कर रहे थे। इन सभी को परिवार के सदस्यों सहित सर्च अभियान के दौरान काबू कर यहां झज्जर की एक स्थानीय धर्मशाला में पुलिस की सिक्योरिटी में रखा गया है। सरकार के निर्देश पर इनके खाने-पीने की व्यवस्था की गई है और अधिकारियों की बात मानें तो जल्द ही इन्हें इनके बंगलादेश भेजने की कार्यवाही की जा रही है। सर्च अभियान के दौरान काबू किए गए इन बांग्लादेशियों का कहना था कि रोजी-रोटी की तलाश में वह दलाल के झांसे में आ गए। दलाल ने ही उन्हें बांग्लादेश की सीमा से भारत में प्रवेश कराया। उस दौरान न तो उनके कोई कागजात की जांच की गई और न ही उनसे भारत आने के दौरान किसी ने कोई सवाल किया। वह यहां ईंट-भट्ठों पर अपने परिवार सहित पिछले कई सालों से मजदूरी कर रहे हैं। यहां धर्मशाला में एक युवा मिला जिसने बताया कि वह अपने पिता के साथ यहां पर आया था। पिता की मौत हो चुकी है और अब वह अपने परिवार के सदस्यों के साथ ही गुजर-बसर कर रहा है। दलाल द्वारा उन्हें बांग्लादेश से भारत की सीमा में प्रवेश कराते समय तकनीक का इस्तेमाल किया जाता था। उनसे किसी ने कोई कागजात चेक नहीं किए। दलाल योजनाबद्ध तरीके से रात के समय सीमा पर मौजूद सिक्योरिटी के साथ पहले झगड़ा करता था और वहां पर हंगामा शुरू कर देता था। उसी हंगामे के बीच चोरी के रास्ते से उन्हें भारत की सीमा में कुछ ही दूरी से प्रवेश करा दिया जाता था। उधर इस मामले में जिला पुलिस कमीश्नर डाॅ. राज श्री ने बताया कि सर्च अभियान के दौरान अभी दो भट्ठों से 174 के करीब बांग्लादेशी पकड़े गए हैं।

रोहतक में ईंट-भट्ठों पर जाकर पुलिस करेगी पड़ताल

रोहतक (निस) : प्रदेश में अवैध रूप से रह रहे बांग्लादेशियों की धरपकड़ के लिए गुप्तचर विभाग व सुरक्षा एजेंसियों ने विशेष अभियान की शुरुआत की है, जिसके तहत 200 से अधिक बांग्लादेशियों को पकड़ा जा चुका है। अब बांग्लादेशियों को उनके देश में वापस भेजा जाएगा। प्रदेश के 9 जिलों में सबसे अधिक बांग्लादेशियों को शरण लेने की रिपोर्ट सामने आई है। पुलिस मुख्यालय ने भी सभी सुरक्षा एजेंसियों को लेकर अलर्ट भेजा है और इस बारे में रिपोर्ट भी तलब की है। साथ ही यह भी इनपुट मिला है कि स्लम बस्तियों व ईंट भट्ठों पर सबसे अधिक बांग्लादेशियों शरण लिये हुए हैं। प्रदेश के फरिदाबाद, रोहतक, झज्जर, गुरुग्राम, सोनीपत, चरखी दादरी, हिसार को लेकर सुरक्षा एजेंसियों ने सरकार को रिपोर्ट भेजी है कि इन जिलों अवैध रुप से बांग्लादेशी शरण लिए हुए है। बताया जा रहा है कि अभी तक चार जिलों से200 से अधिक बांग्लादेशियों को पकड़ा जा चुका है। मंगलवार को भी पुलिस ने अलग-अलग स्थानों पर बांग्लादेशियों की धरपकड़ के लिए अभियान चलाया और जांच पड़ताल की। थाना प्रभारी महेश कुमार का कहना है कि कि बांग्लादेशियों की पहचान के लिए पुलिस टीम गंभीरता से काम कर रही है।

रेवाड़ी में 16 बांग्लादेशी गिरफ्तार

रेवाड़ी (हप्र) : बांग्लादेशियों की लगातार चल रही धरपकड़ के तहत मंगलवार को केंद्रीय खुफिया ब्यूरो और रामपुरा थाना पुलिस की संयुक्त टीम ने हरिनगर के एक ईंट भट‍्ठे पर छापेमारी की जहां 16 बांग्लादेशियों को पकड़ा। पकड़े गए बांग्लादेशी 25 साल पहले बॉर्डर क्रास कर भारत में घुसे थे। इनमें 5 महिलाएं, 6 पुरुष और 5 बच्चे शामिल हैं। इन सबको रामपुरा थाना पुलिस के हवाले कर दिया गया है।

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