केंद्र सरकार द्वारा आपातकाल के 50 वर्ष पूर्ण होने पर लोकतंत्र के अंधकार युग के रूप में याद करते हुए आपातकाल के पीड़ितों को श्रद्धांजलि व सम्मान देने हेतु सूचना, जनसंपर्क, भाषा एवं संस्कृति विभाग हरियाणा द्वारा गुरुग्राम के लघु सचिवालय परिसर में एक प्रदर्शनी लगाई गई है। इस प्रदर्शनी में स्लाइड्स के माध्यम से आपातकाल में लोकतंत्र पर हुए प्रहार से जुड़ी विभिन्न घटनाओं के संस्मरणों को प्रदर्शित किया गया है।
आपातकाल के दौरान यातना सहने वाले लोकतंत्र के सेनानियों ने गुरुवार को लघु सचिवालय स्थित प्रदर्शनी का अवलोकन किया। लोकतंत्र सेनानियों ने लोकतंत्र पर हुए प्रहार के उस कालखंड के दौरान भारत में घटित घटनाओं का चित्रों के माध्यम से जीवंत प्रदर्शन को लेकर हरियाणा सरकार की सराहना की।
लोकतंत्र सेनानी संगठन के प्रांत अध्यक्ष महाबीर भारद्वाज, जिला अध्यक्ष श्रीचंद गुप्ता, संरक्षक विपिन सिंघल, सोहन लाल गोगिया, प्रेम प्रकाश गिरिधर, बृज मोहन गोयल, आत्मप्रकाश नागपाल आदि ने प्रदर्शनी का अवलोकन किया। उन्होंने उस दौर को याद किया जब लोकतंत्र बचाने के लिए हुए संघर्ष के दौरान उनकी गिरफ्तारियां हुई थी।
लोकतंत्र सेनानी सोहन लाल गोगिया ने लोकतंत्र के सत्याग्रहियों को नमन करते हुए कहा कि भारत में संविधान की रक्षा के लिए आपके योगदान को कभी नहीं भुलाया जा सकता। उन्होंने बताया कि वर्ष 1975 में आपातकाल की घोषणा होने के उपरांत शहर के डाकखाना चौक से सोहना चौक तक विरोध मार्च निकाला गया था। जिसके उपरांत उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया था। पांच महीने तक जेल में रहने का वह दौर सदैव उनकी स्मृतियों में कायम है।
वहीं विपिन सिंघल ने बताया कि वह गिरफ्तारी के समय दसवीं कक्षा में पढ़ते थे। वह और उनके भाई दोनों युवा अवस्था में गिरफ्तार हुए थे और दिल्ली की तिहाड़ जेल में चार से पांच महीने तक यातनाएं सहीं। ऐसे ही अधिकतर सेनानियों ने अपने संस्मरण बातचीत के दौरान साझा किए।
जिला सूचना एवं जनसंपर्क अधिकारी बिजेंद्र कुमार ने प्रदर्शनी में लोकतंत्र सेनानियों का स्वागत किया और स्मृति चिन्ह भेंट कर उनका सम्मान किया। गुरुग्राम के साथ यह प्रदर्शनी पटौदी उपमंडल में भी लगाई गई है।