Tribune
PT
About the Dainik Tribune Code Of Ethics Advertise with us Classifieds Download App
search-icon-img
Advertisement

Sambhal Temple : 46 साल से बंद भस्म शंकर मंदिर खोला...हनुमान जी की मूर्ति और मिला शिवलिंग

संभल जिला प्रशासन ने अतिक्रमण रोधी अभियान के दौरान पुराने मंदिर को खोला
  • fb
  • twitter
  • whatsapp
  • whatsapp
Advertisement

संभल (उप्र), 14 दिसंबर (भाषा)

Sambhal Temple : संभल जिला प्रशासन ने शनिवार को नखासा पुलिस थाने के अंतर्गत खग्गू सराय इलाके में अतिक्रमण के खिलाफ अभियान के तहत 46 साल से बंद बताए जा रहे भस्म शंकर मंदिर को खोला, जिसमें हनुमान जी की एक मूर्ति और एक शिवलिंग था।

Advertisement

क्षेत्र में बिजली चोरी के खिलाफ अभियान का नेतृत्व कर रहीं उप जिलाधिकारी वंदना मिश्रा ने कहा कि क्षेत्र का निरीक्षण करते समय, हम अचानक इस मंदिर में पहुंचे। इसके बाद मैंने तुरंत जिले के अधिकारियों को सूचित किया। फिर हमने मंदिर को फिर से खोलने का फैसला किया। स्थानीय लोगों का दावा है कि 1978 में सांप्रदायिक दंगों के बाद हिंदू समुदाय के सदस्यों के यहां से पलायन करने के बाद से ही यह मंदिर बंद था।

स्थानीय निवासियों ने मंदिर से जुड़ी अपनी यादें साझा कीं। संभल जिले के कोट गर्वी के निवासी मुकेश रस्तोगी ने कहा, “हमने हमारे पुरखों से इस मंदिर के बारे में काफी कुछ सुना था। यह एक प्राचीन मंदिर है। चूंकि एक वर्ग विशेष समुदाय के लोग वहां रहते हैं। 1978 में संभल में हुए दंगों के बाद से यह मंदिर बंद रहा है, हमने सुना है कि यह कम से कम 500 साल पुराना होगा।

नगर हिंदू महासभा के 82 वर्षीय संरक्षक विष्णु शंकर रस्तोगी ने कहा, "मैं अपने जन्म से ही खग्गू सराय में रहता हूं। वर्ष 1978 के दंगों के बाद, हमारे समुदाय के लोगों को इस क्षेत्र से पलायन करने के लिए मजबूर होना पड़ा। हमारे कुलगुरु को समर्पित यह मंदिर तब से बंद है। संभल में शाही जामा मस्जिद के सर्वेक्षण के दौरान हुई हिंसा में चार लोगों की मौत की घटना के कुछ सप्ताह बाद, प्रशासन ने मुगलकालीन मस्जिद के आसपास के क्षेत्रों में अतिक्रमण और बिजली चोरी से निपटने के लिए अभियान शुरू किया है। खग्गू सराय जामा मस्जिद से सिर्फ एक किलोमीटर की दूरी पर स्थित है।

विष्णु शंकर रस्तोगी ने यह भी कहा, “खग्गू सराय में भी हमारा घर हुआ करता था। करीब 25-30 हिंदू परिवार वहां रहते थे। हमने मकान बेच दिए और वह जगह छोड़ दी। यह बहुत प्राचीन मंदिर है और इसे रस्तोगी समुदाय का मंदिर कहा जाता था। पहले हमारे समुदाय के लोग यहां पूजा करने आते थे। अधिकारियों ने कहा कि संभल में एक दूसरी मस्जिद में कथित तौर पर ऊंची आवाज में लाउडस्पीकर बजाने के लिए उस मस्जिद के एक इमाम पर शुक्रवार को दो लाख रुपये का जुर्माना लगाया गया। यह घटना कोट गर्वी इलाके की अनार वाली मस्जिद की है।

Advertisement
×