यरूशलम, 4 अगस्त (एजेंसी)इस्राइल की शीर्ष रक्षा समिति ‘‘आक्रामक साइबर हथियारों” के इस्तेमाल पर एक विशेष बैठक करेगी। मीडिया में आई एक खबर में यह जानकारी दी गई है। एनएसओ समूह के पेगासस सॉफ्टवेयर के कथित दुरूपयोग को लेकर हुई अंतरराष्ट्रीय आलोचना और अन्य इजराइली कंपनियों द्वारा अन्य देशों को की गई इसी तरह के स्पाइवेयर की आपूर्ति के संभावित खुलासों के मद्देनजर यह बैठक बुलाई गई है। हारेट्ज समाचारपत्र ने अपनी खबर में कहा कि विदेश मंत्रालय और रक्षा समिति, न सिर्फ एनएसओ और इसके स्पाइवेयर के संभावित लक्ष्यों के बारे में प्रोजेक्ट पेगासस के तहत किये गये कई खुलासों पर चर्चा करने के लिए एक बैठक बुलाएगी, बल्कि हाल के महीनों में अन्य इजराइली कंपनियों के बारे में किये गये खुलासे पर भी इसमें चर्चा की जाएगी। पेगासस प्रोजेक्ट मीडिया संस्थानों का एक संघ है जिसने अपनी रिपोर्ट में यह दावा किया है कि एनएसओ का पेगासस स्पाइवेयर हैक और संभावित निगरानी से संबद्ध था। खबर में कहा गया है कि कांदिरु और क्वाड्रीम जैसी कंपनियों ने भी गैर-लोकतांत्रिक देशों को स्पाइवेयर समाधान बेचे थे। इसमें कहा गया है कि प्रभावशाली विदेश मंत्रालय और रक्षा समिति की बैठक आधिकारिक एजेंडा में संभवत: सूचीबद्ध नहीं है और इसके विवरण को लोगों से दूर रखा जाएगा तथा बैठक में होने वाली चर्चा का ब्योरा रिकार्ड में शामिल नहीं किया जाएगा क्योंकि यह बैठक खुफिया मुद्दों और अन्य विशेष मुद्दों को समर्पित एक उप समिति द्वारा की जाएगी। यह बैठक कथित तौर पर नौ अगस्त को होने का कार्यक्रम है , हालांकि समिति के अध्यक्ष, सांसद राम बेन बराक ने इससे इनकार किया है।
उल्लेखनीय है कि उपसमिति में सिर्फ चार सांसद हैं, जिनमें इस्राइली गुप्तचर एजेंसी मोसाद के पूर्व उप प्रमुख रह चुके बराक, इजराइल सैन्य खुफिया विभाग में सेवा दे चुके एली अविदार आदि शामिल हैं। पत्रकारों, मानवाधिकार कार्यकर्ताओं, नेताओं और अन्य लोगों पर भारत सहित विभिन्न देशों में कथित तौर पर पेगासस सॉफ्टवेयर का इस्तेमाल किये जाने से निजता के मुद्दे को लेकर चिंता पैदा हो गई है।