Tribune
PT
About the Dainik Tribune Code Of Ethics Advertise with us Classifieds Download App
search-icon-img
Advertisement

US vs China: ट्रंप की 100% शुल्क की धमकी पर चीन ने कहा- हम शुल्क युद्ध नहीं चाहते, पर डरते भी नहीं

US vs China: चीन ने रविवार को संकेत दिया कि वह राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की 100 प्रतिशत शुल्क की धमकी के बावजूद पीछे नहीं हटेगा। उसने अमेरिका से आग्रह किया कि वह धमकियों के बजाय बातचीत के जरिये मतभेदों को...

  • fb
  • twitter
  • whatsapp
  • whatsapp
featured-img featured-img
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग (रॉयटर्स फाइल फोटो)
Advertisement

US vs China: चीन ने रविवार को संकेत दिया कि वह राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की 100 प्रतिशत शुल्क की धमकी के बावजूद पीछे नहीं हटेगा। उसने अमेरिका से आग्रह किया कि वह धमकियों के बजाय बातचीत के जरिये मतभेदों को सुलझाए।

वाणिज्य मंत्रालय ने ऑनलाइन जारी एक बयान में कहा, ‘‘चीन का रुख स्पष्ट है। हम शुल्क युद्ध नहीं चाहते, लेकिन हम इससे डरते भी नहीं हैं।'' यह प्रतिक्रिया ट्रंप द्वारा एक नवंबर तक चीन से आयात पर कर बढ़ाने की धमकी के दो दिन बाद आई है।

Advertisement

यह धमकी कई उपभोक्ता और सैन्य उत्पादों के लिए एक प्रमुख घटक, दुर्लभ मृदा खनिजों के निर्यात पर चीन द्वारा लगाए गए नए प्रतिबंधों के जवाब में दी गई थी। इस घटनाक्रम से ट्रंप और चीन के नेता शी चिनफिंग के बीच संभावित बैठक पटरी से उतरने और शुल्क युद्ध को लेकर बनी सहमति को लेकर संकट पैदा हो गया है।

Advertisement

अप्रैल में दोनों पक्षों की ओर से नए शुल्क कुछ समय के लिए 100 प्रतिशत से ऊपर चले गए थे। ट्रंप ने इस साल कई अमेरिकी व्यापारिक साझेदारों से आयात पर कर बढ़ा दिया है, ताकि शुल्क में कटौती के बदले में रियायतें हासिल की जा सकें। चीन उन गिने-चुने देशों में से एक है जो अपनी आर्थिक ताकत के दम पर पीछे नहीं हटा है।

वाणिज्य मंत्रालय ने अपने ऑनलाइन पोस्ट में कहा, ‘‘बार-बार ऊंचा शुल्क लगाने की धमकी देना चीन के साथ तालमेल बिठाने का सही तरीका नहीं है।''

यह पोस्ट एक अनाम प्रवक्ता द्वारा अनिर्दिष्ट मीडिया कंपनियों के सवालों के जवाबों की एक श्रृंखला के रूप में किया गया है। बयान में बातचीत के जरिये किसी भी चिंता का समाधान करने का आह्वान किया गया। पोस्ट में कहा गया, ‘‘अगर अमेरिकी पक्ष हठपूर्वक अपनी नीति पर अड़ा रहता है, तो चीन अपने वैध अधिकारों और हितों की रक्षा के लिए दृढ़ता से कदम उठाएगा।''

Advertisement
×