Tribune
PT
About Us Code Of Ethics Advertise with us Classifieds Download App
search-icon-img
Advertisement

अब अदालत में किया US प्रशासन ने दावा, ट्रंप के हस्तक्षेप से हुआ भारत-पाक के बीच संघर्ष विराम

न्यूयॉर्क, 29 मई (भाषा) Indo-Pak ceasefire and Trump: ट्रंप प्रशासन ने न्यूयॉर्क की एक अदालत को बताया है कि भारत और पाकिस्तान के बीच “अस्थिर संघर्ष विराम” तभी संभव हो पाया जब राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने “हस्तक्षेप किया और दोनों...
  • fb
  • twitter
  • whatsapp
  • whatsapp
Advertisement

न्यूयॉर्क, 29 मई (भाषा)

Advertisement

Indo-Pak ceasefire and Trump: ट्रंप प्रशासन ने न्यूयॉर्क की एक अदालत को बताया है कि भारत और पाकिस्तान के बीच “अस्थिर संघर्ष विराम” तभी संभव हो पाया जब राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने “हस्तक्षेप किया और दोनों देशों को पूर्ण पैमाने पर युद्ध को टालने के लिए अमेरिका के साथ व्यापारिक पहुंच की पेशकश की।” हालांकि भारतीय सरकारी सूत्रों का कहना है कि दोनों देशों के बीच किसी तीसरे पक्ष की भागीदारी के बिना संघर्ष विराम पर सहमति बनी।

वाणिज्य मंत्री हॉवर्ड लुटनिक ने पिछले सप्ताह अंतरराष्ट्रीय व्यापार न्यायालय में प्रस्तुत एक दस्तावेज में यह टिप्पणी की थी, जिसमें उन्होंने तर्क दिया था कि ट्रंप ने अमेरिकी राष्ट्रीय सुरक्षा और अर्थव्यवस्था की रक्षा के उद्देश्य से शुल्क लगाने के लिए अंतरराष्ट्रीय आपातकालीन आर्थिक शक्ति अधिनियम (आईईईपीए) के तहत अपनी आपातकालीन शक्तियों का प्रयोग किया था।

यह भी पढ़ेंः Indian Stock Market: अमेरिका की संघीय अदालत के फैसले से चहका शेयर बाजार, सेसेंक्स व निफ्टी में तेजी

लुटनिक ने कहा कि वास्तविक वैश्विक कूटनीति संचालित करने की राष्ट्रपति की क्षमता के लिए शुल्क बनाए रखना बेहद जरूरी है। लुटनिक ने अपने प्रतिवेदन में कहा, “उदाहरण के लिए, भारत और पाकिस्तान - दो परमाणु शक्तियां जो सिर्फ 13 दिन पहले सैन्य अभियानों में शामिल थीं - 10 मई 2025 को एक अस्थिर संघर्षविराम पर पहुंचे। यह संघर्ष विराम तभी संभव हो सका जब राष्ट्रपति ट्रंप ने हस्तक्षेप किया और दोनों देशों को पूर्ण पैमाने पर संघर्ष को टालने के लिए अमेरिका के साथ व्यापार करने की अनुमति प्रदान की।”

यह भी पढ़ेंः US की संघीय अदालत से ट्रंप को बड़ा झटका, आयात पर भारी शुल्क लगाने के आदेश पर रोक

उन्होंने कहा, “इस मामले में राष्ट्रपति के अधिकारों पर प्रतिबंध लगाने वाला कोई प्रतिकूल फैसला भारत और पाकिस्तान को राष्ट्रपति ट्रंप के प्रस्ताव की वैधता पर सवाल उठाने के लिए प्रेरित कर सकता है, जिससे पूरे क्षेत्र की सुरक्षा और लाखों लोगों के जीवन को खतरा हो सकता है।”

यह भी पढ़ेंः ट्रंप और एलन मस्क के रास्ते हुए अलग-अलग, टेस्ला CEO ने दिया सलाहकार पद से इस्तीफा

ट्रंप ने बार-बार दावा किया है कि उन्होंने भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव को कम करने में मदद की है और उन्होंने परमाणु हथियार संपन्न दक्षिण एशियाई पड़ोसियों से कहा है कि अगर वे संघर्ष बंद कर दें तो अमेरिका उनके साथ खूब व्यापार करेगा।

जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में 22 अप्रैल को हुए भीषण आतंकवादी हमले के लगभग दो सप्ताह बाद भारत ने पाकिस्तान और पाक अधिकृत कश्मीर में आतंकवादी बुनियादी ढांचे को निशाना बनाकर ‘ऑपरेशन सिंदूर' शुरू किया। पहलगाम आतंकी हमले में 26 नागरिक मारे गए थे। चार दिनों तक सीमा पार से ड्रोन और मिसाइल हमलों के बाद भारत और पाकिस्तान 10 मई को सैन्य टकराव रोकने पर सहमत हुए। नयी दिल्ली स्थित भारतीय सरकारी सूत्रों ने बताया कि इसमें कोई तीसरा पक्ष शामिल नहीं था।

Advertisement
×