यूजीन (अमेरिका), 17 जुलाई (एजेंसी)
लंबी कूद के खिलाड़ी मुरली श्रीशंकर रविवार को यहां विश्व एथलेटिक्स चैंपियनशिप के दूसरे दिन उम्मीद पर खरे नहीं उतर पाए और फाइनल में 7वें स्थान पर रहे। विश्व चैंपियनशिप में लंबी कूद के फाइनल में जगह बनाने वाले पहले पुरुष भारतीय एथलीट श्रीशंकर ने इस प्रतिष्ठित प्रतियोगिता में एतिहासिक पदक की उम्मीद जगाई थी। फाइनल में उनका प्रदर्शन हालांकि 8.36 मीटर के उनके सत्र के और निजी सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन से काफी कम रहा। श्रीशंकर ने तीन वैध कूद लगाई। उन्होंने पहले प्रयास में 7.96 मीटर की दूरी तय की जबकि उनका चौथा प्रयास 7.79 मीटर का था। इस भारतीय खिलाड़ी ने अपने अंतिम प्रयास में 7.83 मीटर की कूद लगाई। उनके तीन प्रयास फाउल रहे। 23 साल के श्रीशंकर को अपने इस प्रयास से निराशा होगी क्योंकि वह 6 प्रयास में 8 मीटर की दूरी पार करने में नाकाम रहे। शनिवार को क्वालीफिकेशन दौर में उन्होंने 8 मीटर के प्रयास के साथ ही फाइनल में जगह बनाई थी। वह ग्रुप बी में दूसरे और कुल सातवें स्थान पर रहे थे। श्रीशंकर प्रतियोगिता में 8.36 मीटर से विश्व में सत्र के संयुक्त दूसरे सर्वश्रेष्ठ प्रयास के साथ उतरे थे। उनका यह प्रयास राष्ट्रीय रिकॉर्ड भी है।चीन के जिनान वैंग ने अंतिम प्रयास में 8.36 मीटर की कूद के साथ स्वर्ण पदक जीता जबकि यूनान के ओलंपिक चैंपियन मिल्टियाडिस टेंटोग्लू ने 8.30 मीटर के प्रयास के साथ रजत पदक जीता।
श्रीशंकर के कोच और पिता एस मुरली ने कहा कि यह दुर्भाग्य ही था कि श्रीशंकर 8.16 मीटर से अधिक की दूरी भी तय नहीं कर पाए जिससे उनका पदक पक्का हो जाता। मुरली ने कहा, ‘‘श्रीशंकर आज अच्छा प्रदर्शन करने को लेकर आश्वस्त था लेकिन दुर्भाग्यशाली रहा। वह 8.16 मीटर से अधिक की कूद लगाने में सक्षम था और इस सत्र में उसने कई बार ऐसा किया है।’ उन्होंने कहा, ‘‘तीसरा प्रयास सिर्फ तीन मिलीमीटर से फाउल हो गया। अगर वह प्रयास वैध होता तो वह कम से कम 8.16 मीटर को पार करने में सफल रहता और पदक जीत जाता।’
पारूल चौधरी ने 3 हजार मीटर स्टीपलचेज में किया निजी सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन
भारतीयों से जुड़ी अन्य प्रतियोगिताओं में पारूल चौधरी ने महिला तीन हजार मीटर स्टीपलचेज में नौ मिनट 38.09 सेकेंड का अपना निजी सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन किया। वह हीट नंबर दो में 12वें और कुल 31वें स्थान पर रहते हुए फाइनल में जगह बनाने में नाकाम रहीं। तीन हीट में शीर्ष तीन पर रहने वाले धावकों और अगली छह सर्वश्रेष्ठ धावकों ने फाइनल में जगह बनाई। पारूल का इससे पहले सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन नौ मिनट 38.29 सेकेंड था जो उन्होंने मार्च में तिरूवनंतपुरम में इंडियन ग्रांप्री के दौरान हासिल किया था। पुरुष 400 मीटर बाधा दौड़ में एमपी जाबिर भी सेमीफाइनल में जगह बनाने में नाकाम रहे। वह हीट दो में 50.76 सेकेंड के प्रयास के साथ सातवें और अंतिम स्थान पर रहे। वह पांच हीट में कुल 31वें स्थान पर रहे।