Tribune
PT
About the Dainik Tribune Code Of Ethics Advertise with us Classifieds Download App
search-icon-img
Advertisement

ING vs ENG : गांगुली ने विराट-रोहित पर उठाए सवाल, कहा - 'आसान नहीं होगा अगला वर्ल्ड कप'

विराट और रोहित के लिये 2027 विश्व कप खेलना आसान नहीं होगा : गांगुली
  • fb
  • twitter
  • whatsapp
  • whatsapp
Advertisement

कोलकाता, 22 जून (भाषा)

ING vs ENG : पूर्व कप्तान सौरव गांगुली ने कहा कि विराट कोहली और रोहित शर्मा के लिये 2027 तक फिट रहकर भारत की वनडे विश्व कप टीम में जगह बनाना आसान नहीं होगा। गांगुली ने अपने आवास पर पीटीआई को दिये इंटरव्यू में कहा ,‘‘ हम सभी को समझना होगा कि हर किसी की तरह एक दिन खेल उनसे दूर हो जायेगा और वह खेल से दूर हो जायेंगे।''

Advertisement

अगला वनडे विश्व कप दक्षिण अफ्रीका, जिम्बाब्वे और नामीबिया में 2027 में होगा तब कोहली 38 और रोहित 40 साल के हो जायेंगे। उस समय तक भारत को नौ द्विपक्षीय श्रृंखलाओं में 27 वनडे खेलने हैं यानी साल में बमुश्किल 15 मैच। गांगुली ने कहा ,‘‘ साल में सिर्फ 15 मैच। यह आसान नहीं होगा।''

कोहली और रोहित ने टेस्ट क्रिकेट से विदा लेने के बाद वनडे विश्व कप खेलने की इच्छा जताई थी। अपने खेलने के दिनों में शानदार वनडे बल्लेबाज रहे गांगुली से जब पूछा गया कि वह रोहित और कोहली को क्या सलाह देना चाहेंगे, उन्होंने कहा ,‘‘मैं कोई सलाह नहीं दूंगा। मुझे लगता है कि वे अपने खेल को बखूबी समझते हैं। वे ही फैसला लेंगे।''

गांगुली ने कहा कि कोहली जैसा खिलाड़ी मिलना आसान नहीं होगा हालांकि इन दोनों के दिग्गजों के संन्यास के बाद वह भारतीय क्रिकेट को लेकर चिंतित नहीं हैं। उन्होंने कहा ,‘‘ मैं चिंतित नहीं हूं। विराट शानदार खिलाड़ी है। उसका विकल्प तलाशने में समय लगेगा लेकिन मैं हैरान नहीं हूं।''

युवराज सिंह के बारे में उन्होंने कहा कि वह विशेष खिलाड़ी था जो सफेद गेंद के प्रारूप में चमका लेकिन उसे पारंपरिक प्रारूप में अपना हुनर दिखाने के मौके नहीं मिले। उन्होंने कहा ,‘‘ मैने युवराज को पहली बार नैरोबी में देखा और मैं समझ गया था कि वह खास है। उसने वनडे क्रिकेट में भारत के लिये जो किया, वह अविश्वसनीय है। वह 2007 टी20 विश्व कप का ‘प्लेयर आफ द सीरिज ', 2011 वनडे विश्व कप का ‘प्लेयर आफ द टूर्नामेंट ' था।

उन्होंने कहा ,‘‘ बदकिस्मती से उसे टेस्ट क्रिकेट में इतने मौके नहीं मिले। उसने 30 टेस्ट ही खेले। वह राहुल द्रविड़, सचिन तेंदुलकर, गांगुली और वीवीएस लक्ष्मण के बीच फंस गया लेकिन वह खास खिलाड़ी रहा है।''

Advertisement
×