जकार्ता, 1 जून (एजेंसी)
भारत की युवा हॉकी टीम ने जापान को 1-0 से हराकर एशिया कप में कांस्य पदक जीत लिया। दक्षिण कोरिया से 4-4 से ड्रॉ खेलने के बाद गोल अंतर के आधार पर फाइनल में जगह बनाने से चूकी गत चैंपियन भारतीय टीम के लिये सातवें मिनट में राजकुमार पाल ने मैदानी गोल दागा। इसके बाद भारतीय रक्षापंक्ति ने चुस्ती दिखाते हुए जापान को एक भी गोल नहीं करने दिया। भारत ने पहले पांच मिनट में कई हमले बोले लेकिन डी के भीतर उन्हें कामयाबी नहीं मिली। सातवें मिनट में उत्तम सिंह ने जवाबी हमले पर दाहिने फ्लैंक से राजकुमार को गेंद सौंपी जिसने जापानी गोलकीपर तकाशी योशिकावा को छकाकर गोल दाग दिया। 3 मिनट बाद भारत को लगातार 2 पेनल्टी कॉर्नर मिले लेकिन गोल नहीं हो सका। पहले क्वार्टर के आखिरी पांच मिनट में जापान ने बराबरी का गोल दागने की बहुत कोशिश की लेकिन भारतीय रक्षापंक्ति काफी मजबूत दिखी। जापान को 20वें मिनट में दो पेनल्टी कॉर्नर मिले जिन्हें भारतीय रक्षापंक्ति ने गोल में बदलने नहीं दिया। दूसरे क्वार्टर में दोनों टीमों ने कई मौके बनाये लेकिन तीसरे क्वार्टर में लय कायम नहीं रख सकीं। ब्रेक के बाद जापान ने आक्रामक खेल दिखाकर फिर लगातार दो पेनल्टी कॉर्नर बनाये लेकिन भारतीय रक्षण को भेद नहीं सके।
कोरिया के नाम रिकॉर्ड पांचवां खिताब
दक्षिण कोरिया ने फाइनल में मलेशिया को 2-1 से हराकर रिकॉर्ड पांचवीं बार एशिया कप खिताब जीता। दक्षिण कोरिया के लिए मांजाए जंग (17वें मिनट) और ताएल हवांग (52वें मिनट) ने गोल दागे। मलेशिया के लिए एकमात्र गोल सैयद चोलान ने 25वें मिनट में किया।