हिसार में दो लाख एकड़ से अधिक फसल प्रभावित, 30 हजार किसानों ने ई-पोर्टल पर दर्ज की शिकायत
हाल ही में हुई भारी बारिश और घग्गर मल्टीपर्पज ड्रेन में तेज जलप्रवाह के कारण हिसार जिले में बड़े पैमाने पर फसल और आवासीय क्षेत्रों को नुकसान पहुंचा है। इस आपदा से जिले के 276 गांव प्रभावित हुए हैं, जहां लगभग 30 हजार किसानों ने दो लाख एकड़ से अधिक भूमि पर फसल खराबे की जानकारी ई-क्षतिपूर्ति पोर्टल पर दर्ज करवाई है।
यह जानकारी लोक निर्माण एवं जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी मंत्री रणबीर गंगवा ने शनिवार को दी। वे जलभराव से प्रभावित गांवों—खरड़, न्याणा, खोखा, धांसू और मिर्जापुर आदि का दौरा कर रहे थे। मंत्री गंगवा ने कहा कि फसल नुकसान का वेरिफिकेशन कार्य पूरा होते ही मुआवजा वितरण की प्रक्रिया आरंभ कर दी जाएगी।
उन्होंने बताया कि सामान्यतः जुलाई से सितंबर के बीच 298 मिमी बारिश होती है, लेकिन इस वर्ष 6 सितंबर तक ही 608 मिमी बारिश दर्ज की जा चुकी है। इसके अतिरिक्त जींद और अन्य जिलों से घग्गर ड्रेन में आए भारी पानी के दबाव के कारण कई स्थानों पर ड्रेन टूट गई, जिससे जलभराव और नुकसान और अधिक बढ़ गया। मंत्री ने बताया कि सरकार सभी प्रभावितों की हरसंभव सहायता करेगी। नारनौंद और अन्य इलाकों में मकानों के नुकसान के मामलों में प्रभावितों को आर्थिक सहायता प्रदान की जा रही है। कोथ कलां गांव में मकान गिरने से मृतक रहिशा के परिजनों को मुख्यमंत्री राहत कोष से 4 लाख रुपये की सहायता राशि दी गई है, जबकि अन्य घायल लोगों का इलाज चल रहा है।
गांव खरड़ में मंत्री ने खेतों से आबादी क्षेत्र की ओर और न्याणा में गौशाला की ओर बहते पानी को रोकने के लिए सिंचाई विभाग और अन्य संबंधित अधिकारियों को आवश्यक निर्देश दिए। उन्होंने संबंधित विभागों को यह सुनिश्चित करने को कहा कि ग्रामवासियों को हरसंभव राहत पहुंचाई जाए। इस अवसर पर पूर्व चेयरमैन सतबीर वर्मा, जिला पार्षद ओपी मालिया, खरड़ के सरपंच रमेश सैनी, मैयड़ के सरपंच विकास सहित गांव के गणमान्य नागरिक व संबंधित विभागों के अधिकारी उपस्थित थे।
पिचोपा में माइनर टूटने से खरीफ की फसलें जलमग्न
चरखी दादरी (हप्र) : गांव पिचोपा खुर्द की माइनर टूटने से साथ लगते वन क्षेत्र व कृषि भूमि पर पानी भर गया। आसपास की दर्जनों एकड़ फसलों में पानी भर गया और घरों तक पानी पहुंचने से नुकसान हुआ है। गांव पिचोपा खुर्द के नजदीक ग्रामीणों की मांग पर विभाग ने जोहड़ तक आपूर्ति के लिए विशेष माइनर का निर्मित करवाया है जो बारिश के कारण किनारों से कटाव पैदा होने से टूट गई। ग्रामीण सुरेद्र सिंह, जयभगवान, ओमप्रकाश व रामौतार इत्यादि ने बताया कि माइनर टूटने के कारण आसपास की फसलों में पानी पहुंच गया। सिंचाई विभाग के जेई सुखवीर ने फोन पर बताया कि नहर टूटने की सूचना मिलते ही पीछे से पानी की आपूर्ति बंद करवाई तथा मौका मुआयना कर मरम्मत का कार्य शुरु करवाया।