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31 साल पहले शहीद हुए सैनिक के घर पर पंहुचे सैन्य अधिकारी, परिजनों को किया सम्मानित

कनीना के निकटवर्ती गांव बव्वा में रविवार को सीआरपीएफ के समूह केंद्र गुरुग्राम से पैरामिलिट्री के अधिकारी पूर्व लांस नायक शहीद जगदीश प्रसाद को श्रद्धांजलि व परिजनों को सम्ृति चिन्ह देने पहुंचे। डिप्टी कमांडेंट मनोज कुमार सत्यार्थी ने बताया कि...
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कनीना के बव्वा में रविवार को शहीद जगदीश प्रसाद के परिजनों को स्मृति चिन्ह प्रदान करते सैन्य अधिकारी। -निस
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कनीना के निकटवर्ती गांव बव्वा में रविवार को सीआरपीएफ के समूह केंद्र गुरुग्राम से पैरामिलिट्री के अधिकारी पूर्व लांस नायक शहीद जगदीश प्रसाद को श्रद्धांजलि व परिजनों को सम्ृति चिन्ह देने पहुंचे।

डिप्टी कमांडेंट मनोज कुमार सत्यार्थी ने बताया कि सीआरपीएफ 112 बटालियन के लांस नायक जगदीश प्रसाद 3 अगस्त, 1994 को शहीद हो गए थे। 300 जवानों की बटालियन जम्मू से श्रीनगर जा रही थी, रामबऩ के पास आतंगवादियों ने घात लगाकर उनकी टुकड़ी पर हमला कर दिया था, जिसमें 6 जवान शहीद तथा 12 घायल हो गए थे। लांस नायक जगदीश प्रसाद भी उनमें शामिल थे। बलिदान दिवस के मौके पर सैन्य अधिकारियों ने शहीद जगदीश प्रसाद के चित्र पर पुष्प अर्पित कर श्रद्धासुमन अर्पित किए। सरपंच सुनीता देवी ने श्रद्धांजलि दी। उन्होंने शहीद परिवार को हर सम्भव मदद का भरोसा दिया।

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शहीद की पत्नी रामकला देवी बताया उनके पति 1980 में भर्ती हुए थे, जो 14 वर्ष बाद श्रीनगर में शहीद हो गए। उनका पुत्र सियाराम भी सीआरपीएफ में सेवारत है। परिजन गांव में शहीद की प्रतिमा लगाने के लिए प्रयासरत हैं। इस अवसर पर उपनिरीक्षक महावीर सिंह, पूर्व सरपंच ईश्वर सिंह, जंगजीत सिंह, रामनिवास यादव, मनीष, कृष्ण, नरेश यादव आदि उपस्थित थे।

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