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आर्य समाज स्कूल की स्थिती को स्पष्ट करें : अग्रवाल

कहा- सीएवी केवल शिक्षा नहीं, समाज की आत्मा और सांस्कृतिक स्मृतियों का भी मुद्दा
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हिसार, 18 मई (हप्र)हिसार की ऐतिहासिक शिक्षण संस्था सी.ए.वी. स्कूल प्रकरण पर स्कूल के पूर्व छात्र, प्रबंध समिति के पूर्व सदस्य व स्कूल की वित्तपोषित संस्था आर्य समाज के प्रवक्ता रह चुके सामाजिक संस्था सजग के अध्यक्ष सत्य पाल अग्रवाल ने गहरी चिंता व्यक्त की है। अग्रवाल ने कहा है कि यह संस्था केवल एक शैक्षणिक भवन नहीं, बल्कि शिक्षा, समाज सेवा और सांस्कृतिक विरासत का प्रतीक है।

उन्होने बताया कि इस स्कूल की शुरुआत लाला लाजपत राय की प्रेरणा से 1 अप्रैल 1918 को हिसार में आर्य समाज के सदस्यों द्वारा की गई थी। इसका नाम लाला चंदूलाल तायल के नाम पर रखा गया था। सेठ छाजू राम और लाला लाजपत राय से दान मिला और चंदूलाल तायल के छोटे भाई हरिलाल तायल ने जमीन दान की। स्कूल हरियाणा विद्यालय शिक्षा बोर्ड से संबद्ध है।

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अप्रैल 2025 में आर्य समाज ट्रस्ट प्रबंधन द्वारा सीएवी सीनियर सेकेंडरी स्कूल के स्टाफ सदस्यों को नौकरी से हटाने तथा विद्यार्थियों को 11वीं-12वीं कक्षा में दाखिला देने से इंकार कर देने के साथ ही इसके बंद होने की आशंका ने नागरिकों, पूर्व छात्रों, शिक्षकों और अभिभावकों के बीच गहरा असंतोष और पीड़ा उत्पन्न कर दी है।

सत्यपाल अग्रवाल ने कहा है कि इसकी संचालित संस्था आर्य समाज हिसार को स्कूल की स्थिती को सार्वजनिक रूप से स्पष्ट करनी चाहिए। साथ ही उन्होंने अपील की कि आर्य समाज को आगे बढ़कर एक सर्वमान्य सशक्त संचालन समिति का गठन करना चाहिए। सत्यपाल अग्रवाल ने जनआह्वान किया है कि प्रशासन, शिक्षा विभाग, सामाजिक संगठनों, शिक्षाविदों, पूर्व छात्रों और जागरूक नागरिकों से इस कार्य में ठोस कदम उठाएं।

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