रायकोट/झुनीर, 16 फरवरी (एजेंसी)
शिरोमणि अकाली दल (शिअद) के प्रमुख प्रमुख सुखबीर बादल ने पंजाब के हर गांव में अपनी पार्टी की मौजूदगी और लोगों की आकांक्षाओं को किसी दूसरे से बेहतर समझ सकने का दावा करते हुए कहा कि उन्हें विश्वास है कि मतदाता इस बार राज्य आधारित पार्टी को चुनेंगे न कि उनको जो ‘दिल्ली से रिमोट संचालित’ हैं। राजनीतिक विश्लेषक शिअद के भरोसे पर संदेह जता सकते हैं लेकिन बादल का कहना है कि उसका ‘घर और गठबंधन दुरुस्त है’ और प्रतिद्वंद्वियों की तुलना में उन्हें लाभ मिलेगा। शिअद प्रमुख ने यह भी कहा कि बसपा, भाजपा की तुलना में ‘बहुत बेहतर सहयोगी’ है और उन्होंने फिर से भाजपा के साथ आने की संभावना से इनकार किया। बादल ने रायकोट में एक रैली के इतर कहा, ‘अकाली दल पंजाब की सबसे पुरानी पार्टियों में से एक है और पंजाब की एकमात्र पंजाबी पार्टी है, जो किसानों की पार्टी है। पंजाब की मानसिकता को हमसे बेहतर कोई नहीं समझ सकता क्योंकि हम दिल्ली से ‘रिमोट कंट्रोल’ से संचालित नहीं होते हैं।’ चुनाव के लिए पार्टी के थीम गीत ‘साडा वीर सुखबीर’ के संगीत के साथ बादल अपने पार्टी कार्यकर्ताओं की ओर इशारा करते हुए कहते हैं कार्यकर्ता उत्साहित हैं और वे पार्टी को जीत दिलाएंगे। अपना जनाधार फिर से हासिल करने की कोशिश में शिअद लोगों को छोटी-छोटी रैलियों से जोड़ने की कोशिश कर रहा है जहां दावतें आयोजित की जाती हैं, जबकि प्रचार अभियान गीत जोर से बजता रहता है। बादल ने कहा, ‘पंजाब के हर गांव और हर बस्ती में हमारी मौजूदगी है। पंजाब के लोग अपनी पार्टी चुनेंगे, न कि दिल्ली से दूर से रिमोट से नियंत्रित पार्टी को।’ गठबंधन ने मंगलवार को अपना चुनावी घोषणा पत्र जारी करते हुए ‘पंजाबियों के लिए पंजाब’ की पैरवी की, जिसमें सरकारी और निजी क्षेत्रों में राज्य के युवाओं के लिए नौकरियों में 75 प्रतिशत आरक्षण और शिक्षा संस्थानों में स्थानीय छात्रों के लिए कोटा के अलावा कई मुफ्त रियायतों का वादा किया गया है। आप के उभार के सवाल पर बादल ने इसे ‘अवसरवादियों और दलबदलुओं का समूह’ बताया और कहा कि पिछली बार पार्टी ने 20 सीटें जीती थीं और उसके बाद पार्टी में टूट होती रही। बादल ने कहा, ‘लोगों ने आप और कांग्रेस तथा भाजपा के माध्यम से देखा है, ये पार्टियां दिल्ली द्वारा रिमोट से नियंत्रित हैं। जहां तक कांग्रेस का सवाल है तो वह हर गुजरते दिन के साथ सिमटते जा रही है।’
भाजपा से अलग होने के बाद बसपा के साथ शिअद के गठबंधन के बारे में पूछे जाने पर बादल ने कहा कि भाजपा की केवल कुछ सीटों पर मौजूदगी है जबकि बसपा अधिकतर क्षेत्रों में सहयोग कर सकती है।