बठिंडा, 27 सितंबर (निस)
संयुक्त किसान मोर्चे द्वारा आज सुबह 6 बजे से सायं 4 बजे तक भारत बंद के आह्वान के मद्देनजर भारतीय किसान यूनियन (एकता उगराहां) के नेतृत्व में किसानों ने बठिंडा जिले में 15 स्थानों पर सड़क को जाम किया।
किसान नेता जसबीर सिंह बुर्जसेमा ने बताया कि इसमें बठिंडा-मानसा रोड पर कोट समीर, कोट भारा, घुम्मन कलां के पास, बठिंडा-बरनाला रोड पर लैहराबेगा टोल प्लाजा, रामपुरा के पास, बठिंडा-रामां सड़क पर गांव ढड्डे के पास, बठिंडा-तलवंडी साबो रोड , बठिंडा-डबवाली रोड पर टी-प्वाइंट रिफाइनरी रोड जस्सी बागवाली के पास, बठिंडा-बादल रोड पर गांव घुद्दा के पास, बठिंडा-मुक्तसर रोड पर गांव महमा सरजा के पास, बठिंडा-अमृतसर सड़क पर जीदा टोल प्लाजा, भुच्चो-भगता रोड पर नथाना के पास, बाजाखाना- बरनाला रोड पर गांव भगता व सलावतपुरा तथा जलाल-समाध भाई सड़क पर गांव भोडीपुरा में धरना देकर सड़क जाम की गयी। धरने के दौरान किसान नेताओं ने कहा कि तीन खेती कानूनों के विरुद्ध किसान संगठनों द्वारा चलाए जा रहे आंदोलन के दौरान 600 से अधिक किसान जान गंवा चुके हैं परन्तु केन्द्र सरकार पर इसका कोई असर नहीं पड़ा।
होशियारपुर में बंद को मिला पूर्ण समर्थन
होशियारपुर (निस) : विभिन्न किसान संगठनों की ओर से किए जा रहे संघर्ष के चलते संयुक्त किसान मोर्चा देशव्यापी हड़ताल का आह्वान पर होशियारपुर शहर के साथ-साथ कस्बों और गांवों में भी लोग किसान संघर्ष का समर्थन करते नजर आये। इस दौरान उन्होंने अपने आप दुकानें और अन्य संस्थान बंद रखे। बंद के चलते जिले में सरकारी कार्यालय, बैंक और शैक्षणिक संस्थान भी आज एहतियात के तौर पर बंद रहे।
आजाद किसान संघर्ष समिति दोआबा लाचोवाल ने टोल प्लाजा पर सुबह छह बजे से शाम चार बजे तक धरना लगाकर यातायात बंद रखा। धरने के दौरान भाई हरजीत सिंह के रागी जत्थे ने मनोहर कथा-कीर्तन से संगत को निहाल किया। इस मौके पर डॉ. सरबजीत सिंह, तरसेम सिंह संधर, सुखदेव सिंह, कुलविंदर सिंह, डॉ. जसवीर सिंह की टीम ने 400 मरीजों की जांच की और जरूरतमंदों को मुफ्त दवाएं दीं। इस मौके पर किसान नेता गुरदीप सिंह खुन खुन ने कहा कि कृषि कानूनों को निरस्त किए जाने तक संघर्ष जारी रहेगा।
बाबा हरमनजीत सिंह, गुरनाम सिंह सिंगरड़ीवाला, चरण वरिंदर सिंह और गुरिंदर सिंह गोगी हैद्रोवाल भारत के नेतृत्व में सिंगड़ीवाला बाईपास पर रोष धरणा लगाकर विरोध प्रदर्शन किया गया। उधर, अजाद किसान समिति दोआबा ने आज संयुक्त किसान मोर्चा द्वारा भारत बंद के आह्वान पर स्थानीय फगवाड़ा बाईपास पर रोष धरणा लगाकर विरोध प्रदर्शन किया। वहीं, होशियारपुर के नालोइयां बाईपास पर भी धरना लगाया गया।
पठानकोट में बाजार पूरी तरह सुनसान दिखे
पठानकोट (निस): भारत बंद के आह्वान का पठानकोट में भी काफी असर देखने को मिला। किसान जत्थेबंदियों की ओर से बाल्मीकि चौक एवं अन्य विभिन्न चौकों में धरना दिया गया तथा ट्रैक्टर-ट्रालियों के साथ चक्का जाम किया गया। इस दौरान किसान जत्थेबंदियों के साथ व्यापारिक संगठनों, पनबस कर्मचारी यूनियन के अलावा विभिन्न संगठनों ने किसानों के इस संघर्ष का समर्थन किया। बंद के दौरान पठानकोट शहर की दुकानें बंद रही, जिससे बाजार पूरी तरह सुनसान दिखे। किसान नेता गुरदयाल सैनी ने कहा कि केन्द्र सरकार द्वारा कृषि विधेयक लागू करके किसानों पर आर्थिक बोझ डाल दिया गया है।
लुधियाना में 40 जगहों पर धरना
लुधियाना (निस) : संयुक्त किसान मोर्चा के भारत बंद के आह्वान को लुधियाना जिला में व्यापक समर्थन मिला। जिला में 40 स्थानों पर धरने देकर यातायात ठप्प किया गया। खन्ना और जगरांव रेलवे स्टेशनों पर रेल पटरियों पर धरना देकर रेलमार्ग बाधित किया गया। कहीं से गड़बड़ की कोई शिकायत नहीं आई। सभी धरनास्थलों पर पुलिस भारी संख्या में उपस्थित थी। प्रदर्शनकारियों नें तीन कानूनों और मोदी सरकार विरुद्ध जमकर नारेबाजी की। शहर के मुख्य बाजारों में अधिकतर दुकानें बंद थी। कुछ स्थानों पर बैंक इत्यादि जबरन बंद करवाने की सूचना है। लुधियाना-चंडीगढ़ मुख्य राज मार्ग पर समराला के निकट टोल प्लाजा पर तारा सिंह नामक एक ‘किसान’ ने गत रात फंदा लगाकर आत्महत्या कर ली। भाकियू के अनुसार वह गत 9 माह से धरने पर बैठा हुआ था।
चक्का जाम के साथ ट्रैक पर बैठे किसान
कपूरथला (निस) : सुबह 6 बजे से ही जालंधर नेशनल हाईवे पर किसानों ने तंबू गाड़कर धरना प्रदर्शन शुरू कर दिया है। इस दौरान केवल एंबुलेंस और स्वास्थ्य सेवाओं को छूट रही। किसानों ने नेशनल हाईवे बाठ कैसल के पास, पीएपी चौक, लोहिया टी-प्वाइंट और शाहकोट मलसियां, रेलवे क्रॉसिंग के पुल पर, गांव मल्लियां, भोगपुर में आदमपुर टी-प्वाइंट, नकोदर-जालंधर बार्इपास, प्रतापपुरा लांबड़ा, महितपुर टोल प्लाजा पर धरना शुरू कर दिया। वहीं, रेलवे ट्रैक पर बैठे किसानों की वजह से जालंधर-फिरोजपुर रेल संचालन ठप हो गया है। उधर, चेहड़ू रेलवे ट्रैक पर भी किसान बैठ गये।