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जस्टिस वर्मा के घर से नकदी मिलने पर प्राथमिकी क्यों नहीं हुई : संसदीय समिति

नयी दिल्ली, 24 जून (एजेंसी) मंगलवार को संसदीय समिति की बैठक में कई सांसदों ने पूछा कि यहां एक उच्च न्यायालय के न्यायाधीश के आवास से बेहिसाब नकदी बरामद होने के मामले में कोई प्राथमिकी क्यों नहीं दर्ज की गई?...
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नयी दिल्ली, 24 जून (एजेंसी)

मंगलवार को संसदीय समिति की बैठक में कई सांसदों ने पूछा कि यहां एक उच्च न्यायालय के न्यायाधीश के आवास से बेहिसाब नकदी बरामद होने के मामले में कोई प्राथमिकी क्यों नहीं दर्ज की गई? समिति ने न्याय विभाग से इस मामले पर एक विस्तृत नोट भी तैयार करने को कहा। सूत्रों ने यह जानकारी दी।सांसदों ने न्यायाधीशों के लिए एक आचार संहिता की भी मांग की तथा कहा कि उच्च न्यायपालिका के न्यायाधीशों को सेवानिवृत्ति के बाद पांच वर्ष की अवधि तक कोई सरकारी कार्यभार नहीं लेना चाहिए।

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कार्मिक, लोक शिकायत, विधि एवं न्याय संबंधी संसदीय समिति की बैठक के दौरान विभिन्न दलों के सांसदों ने इस मुद्दे को उठाया तथा विधि एवं न्याय मंत्रालय से कई प्रश्न पूछे कि न्यायपालिका से संबंधित उठाए गए मामलों में वह क्या कर रहा है। सूत्रों ने बताया कि न्याय विभाग के सचिव, जिन्होंने उच्च न्यायपालिका के न्यायाधीशों के लिए आचार संहिता और न्यायाधीशों द्वारा सेवानिवृत्ति के बाद कार्यभार संभालने के मुद्दों से संबंधित ‘न्यायिक प्रक्रियाएं और उनमें सुधार’ पर प्रस्तुति दी थी, को उठाए गए मुद्दों पर एक व्यापक रिपोर्ट तैयार करने और समिति की अगली बैठक में इसे प्रस्तुत करने के लिए कहा। उन्होंने कहा कि सदस्यों ने न्यायाधीशों की नैतिकता और आचार संहिता पर विभिन्न मुद्दों और चिंताओं को संबोधित करने वाले एक व्यापक विधेयक की भी मांग की, जो बैठक के दौरान उनके द्वारा उठाए गए थे।

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