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पर्यटकों के लिए खुली 87 वर्ग किमी में फैली फूलों की घाटी, यहां हैं 500 से अधिक प्रजातियां

गोपेश्वर (उत्तराखंड), एक जून (भाषा) Valley of Flowers open: उत्तराखंड के चमोली जिले में यूनेस्को के विश्व धरोहर स्थलों की सूची में शामिल फूलों की घाटी राष्ट्रीय उद्यान शनिवार को पर्यटकों के लिए खोल दिया गया। घांघरिया आधार शिविर से...
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फूलों की घाटी। फाइल फोटो
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गोपेश्वर (उत्तराखंड), एक जून (भाषा)

Valley of Flowers open: उत्तराखंड के चमोली जिले में यूनेस्को के विश्व धरोहर स्थलों की सूची में शामिल फूलों की घाटी राष्ट्रीय उद्यान शनिवार को पर्यटकों के लिए खोल दिया गया। घांघरिया आधार शिविर से 48 पर्यटकों के पहले जत्थे को उप वन संरक्षक बीबी मर्तोलिया ने घाटी के लिए रवाना किया। घाटी में फूलों की 500 से अधिक प्रजातियां हैं।

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फूलों की यह घाटी 87 वर्ग किलोमीटर क्षेत्र में फैली है जहां हिमालय की दुर्लभ वनस्पतियां देखने को मिलती हैं। बर्फ से ढके पहाड़ों के बीच अपने सुरम्य स्थान और इसके बीच में बहने वाली पुष्पावती नदी के कारण यह स्थल दुनियाभर से बड़ी संख्या में पर्यटकों को आकर्षित करता है।

मर्तोलिया ने बताया कि चूंकि यह एक संरक्षित क्षेत्र है, इसलिए पर्यटक घाटी में रात के समय नहीं रुक सकते और उन्हें उसी दिन आधार शिविर लौटना होगा। फूलों की घाटी के लिए शुल्क भारतीयों के लिए 200 रुपये और विदेशी नागरिकों के लिए 800 रुपये है। फूलों की घाटी 31 अक्टूबर तक पर्यटकों के लिए खुली रहेगी।

मान्यता के अनुसार रामायण काल में हनुमान जी यहीं सी संजीवनी बूटी लेकर आए थे। इस घाटी का पता सबसे पहले ब्रिटिश पर्वतारोही फ्रैंक एस स्मिथ व उनके साथ साथी आर एल होल्डसवर्थ ने 1931 में लगाया था।

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