दो सीएम को गिरफ्तार करने वाले 'ईडी अफसर' ने दिया इस्तीफा
राज ने ईडी में लगभग आठ वर्षों तक सेवाएं दीं और हाल ही में उन्होंने एजेंसी में अपना प्रतिनियुक्ति कार्यकाल पूरा किया था। इस्तीफे से पहले वह दिल्ली में जीएसटी इंटेलिजेंस विंग में अतिरिक्त आयुक्त पद पर तैनात थे। ईडी में रहते हुए उन्होंने जनवरी 2024 में झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की रांची में एक कथित भूखंड घोटाले के मामले में गिरफ्तारी की निगरानी की थी। झारखंड मुक्ति मोर्चा (झामुमो) नेता सोरेन ने हिरासत से पहले राजभवन में राज्यपाल से मुलाकात कर मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दिया था। कपिल राज इस बैठक के दौरान मौजूद थे और उसी के तुरंत बाद उनकी टीम ने सोरेन को हिरासत में लिया। इसके कुछ महीने बाद, मार्च 2024 में, राज दिल्ली के तत्कालीन मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के सरकारी आवास पर ईडी की तलाशी के बाद फ्लैग स्टाफ रोड स्थित उनके निवास पहुंचे। ईडी के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि राज इन उच्च-स्तरीय राजनीतिक गिरफ्तारियों के लिए पूछताछ प्रश्नावली तैयार करते और उन्हें अंतिम रूप देते थे। वह कई बार तलाशी अभियानों के दौरान खुद मौके पर पहुंचते थे ताकि जांच की निगरानी कर सकें और अपनी टीम का मनोबल बढ़ा सकें। राज ने ईडी के रांची जोन में संयुक्त निदेशक के रूप में कार्य किया था। मुंबई में ईडी के उप निदेशक के पद पर रहते हुए उन्होंने नीरव मोदी, मेहुल चोकसी, डीएचएफएल और इकबाल मिर्ची से जुड़े धनशोधन मामलों की भी जांच की थी। एक अधिकारी ने बताया कि राज उत्तर प्रदेश के सहारनपुर जिले के एक मध्यमवर्गीय परिवार से ताल्लुक रखते हैं।