नयी दिल्ली, 11 जुलाई (एजेंसी)
संसद के मानसून सत्र से पहले रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने सोमवार को रक्षा संबंधी संसदीय परामर्श समिति के सदस्यों को सैन्य भर्ती के लिए लायी गयी ‘अग्निपथ योजना’ के बारे में प्रस्तुति दी । कुछ विपक्षी सांसदों ने इस योजना को तत्काल वापस लेने की मांग की। करीब दो घंटे तक चली बैठक में राजनाथ सिंह के संबोधन के बाद तीनों सेनाओं के प्रमुखों ने अपनी बात रखी ।
सूत्रों के अनुसार कांग्रेस, राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) और तृणमूल कांग्रेस ने नयी भर्ती योजना पर आपत्ति व्यक्त की और कहा कि इसे वापस लिया जाना चाहिए । सूत्रों ने बताया कि कांग्रेस सांसद शक्ति सिंह गोहित ने विशेषज्ञों एवं उत्कृष्ट सैनिकों द्वारा इसकी आलोचना किये जाने का हवाला दिया और कहा कि इसे वापस लिया जाना चाहिए, क्योंकि इससे बलों का मनोबल प्रभावित होता है और भ्रम की स्थिति पैदा होती है। उन्होंने कहा कि योजना को पहले पायलट परियोजना के तौर पर शुरू किया जाए और जो लोग प्रशिक्षित हों..उन्हें सैन्य बलों में भर्ती किया जाए । राकांपा की सुप्रिया सुले और तृणमूल कांग्रेस के सौगत राय ने उनका ंसमर्थन किया । इन सांसदों ने रक्षा मंत्री को एक ज्ञापन भी दिया और इस योजना को वापस लेने की मांग की, लेकिन कांग्रेस सांसद मनीष तिवारी ने इस पर हस्ताक्षर नहीं किया । ज्ञात हो कि तिवारी सार्वजनिक तौर पर अगनिपथ योजना की सराहना कर चुके हैं । समझा जाता है कि इस प्रस्तुति का मकसद 18 जुलाई से शुरू होने वाले संसद के मानसून सत्र से पहले विपक्षी नेताओं की चिंताओं को दूर करना है। समिति के सांसदों को प्रस्तुति देने के बाद रक्षा मंत्री एवं तीनों सेनाओं के प्रमुखों ने कई सवालों के जवाब भी दिये । गौरतलब है कि 14 जून को योजना की घोषणा किये जाने के बाद कई राज्यों में हिंसक विरोध प्रदर्शन की खबरें आई थी।