Rahul Citizenship Dispute : राहुल गांधी की नागरिकता पर गर्माई सियासत, ED ने किया भाजपा कार्यकर्ता से पूछताछ
Rahul Citizenship Dispute : इलाहाबाद हाई कोर्ट में याचिका दायर कर कांग्रेस नेता राहुल गांधी के ब्रिटिश नागरिक होने का दावा करने वाले कर्नाटक भाजपा के एक कार्यकर्ता ने मंगलवार को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के समक्ष गवाही दी, जहां उसका बयान दर्ज किया गया।
आधिकारिक सूत्रों ने यह जानकारी दी। एस विग्नेश शिशिर ने मध्य दिल्ली स्थित ईडी के कार्यालय में प्रवेश करने से पहले संवाददाताओं को बताया कि उन्हें उक्त जांच के संबंध में विदेशी मुद्रा प्रबंधन अधिनियम (फेमा) की धारा 37 के तहत तलब किया गया है।
ईडी के सूत्रों ने बताया कि शिशिर से कुछ दस्तावेज और "सबूत" जमा करने को कहा गया था, जिनके बारे में उन्होंने दावा किया था कि वह उनके पास हैं। शिशिर से कुछ सवाल पूछे गए और फेमा के तहत उनका बयान दर्ज किया गया। फेमा के तहत, प्रवर्तन निदेशालय व्यक्तियों और कंपनियों द्वारा विदेशी मुद्रा कानून के उल्लंघन से संबंधित शिकायतों की जांच करता है। शिशिर ने संवाददाताओं से कहा, "मेरे पास कुछ ठोस सबूत, जानकारी, दस्तावेज, रिकॉर्ड और वीडियो हैं...।"
कांग्रेस ने इस मुद्दे पर टिप्पणी करने से इनकार कर दिया। इलाहाबाद हाई कोर्ट में दायर जनहित याचिका में शिशिर ने दावा किया था कि उनके पास ब्रिटेन सरकार के दस्तावेज और कुछ ईमेल हैं, जो साबित करते हैं कि लोकसभा में विपक्ष के नेता गांधी ब्रिटिश नागरिक हैं और इस कारण वह भारत में चुनाव लड़ने के लिए अयोग्य हैं।
इलाहाबाद हाई कोर्ट की लखनऊ पीठ ने 30 अगस्त को केंद्र सरकार द्वारा शिशिर को चौबीसों घंटे सुरक्षा प्रदान करने का आदेश दिया था। न्यायमूर्ति संगीता चंद्रा और न्यायमूर्ति बी आर सिंह की पीठ ने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के कार्यकर्ता द्वारा इस संबंध में दायर याचिका पर यह आदेश पारित किया।
अपने अंतरिम आदेश में पीठ ने कहा, "हम प्रथम दृष्टया इस बात से संतुष्ट हैं कि मामले पर विचार किए जाने की आवश्यकता है, क्योंकि याचिकाकर्ता एक बहुत प्रभावशाली व्यक्ति के खिलाफ अपना मामला चला रहा है और उसे लगातार धमकियों का सामना करना पड़ रहा है तथा उसे जारी नोटिस की तामील में उसे रायबरेली जिले के कोतवाली थाने में जांच अधिकारी के समक्ष उपस्थित होना है।"
शिशिर ने हाई कोर्ट को बताया था कि जून 2024 में की गई उनकी शिकायत पर केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) की जांच जारी है और उन्होंने दावा किया कि वह कई मौकों पर दिल्ली में एजेंसी के समक्ष पेश हुए थे तथा राहुल गांधी की कथित ब्रिटिश नागरिकता के सबूत पेश किए थे।
हाई कोर्ट ने मामले की सुनवाई नौ अक्टूबर के लिए निर्धारित की है। कुछ समय पहले इस मामले की सुनवाई के दौरान केंद्र सरकार ने अदालत को सूचित किया था कि भारत सरकार ने ब्रिटेन सरकार को पत्र लिखकर गांधी की कथित ब्रिटिश नागरिकता के बारे में विवरण मांगा है।