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पाकिस्तानी गोलाबारी से घर छोड़ गए लोग लौट सकते हैं वापिस : उमर

जम्मू कश्मीर के मुख्यमंत्री ने पुंछ और सुरनकोट क्षेत्रों का किया दौरा
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पुंछ/जम्मू, 12 मई (एजेंसी)

जम्मू कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने सोमवार को अपने कैबिनेट सहयोगी जावेद राणा, सलाहकार नासिर असलम वानी और विधायक ऐजाज जान के साथ सोमवार को पुंछ और सुरनकोट क्षेत्रों में पाकिस्तानी गोलाबारी से प्रभावित लोगों से मुलाकात की और क्षेत्र में बंकर स्थापित करने की आवश्यकता पर बल दिया।

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अब्दुल्ला के साथ उनके बेटे जमीर और जहीर भी साथ थे। इस दौरान उन्होंने कहा कि केंद्र शासित प्रदेश में हाल की पाकिस्तानी गोलाबारी से युद्ध जैसे हालात पैदा हुए और जो लोग अपने घर छोड़ गए थे, वे वापस आ सकते हैं क्योंकि दोनों देशों के बीच अब एक सैन्य सहमति बन गई है।

अब्दुल्ला ने पाकिस्तानी सेना के जारी दुष्प्रचार को भी खारिज करते हुए कहा कि पड़ोसी देश इसे जारी रखेगा, लेकिन वास्तविकता दुनिया को पता है। अब्दुल्ला ने यहां संवाददाताओं से कहा, उन्हें (सीमावर्ती निवासियों को) अब अपने घर लौटने का प्रयास करना चाहिए। पुंछ शहर का 80 से 90 प्रतिशत हिस्सा खाली है। जब गोलाबारी हो रही थी, तब वे अपने घरों को छोड़कर सुरक्षित जगहों पर चले गए थे। मुख्यमंत्री अब्दुल्ला ने बताया पुंछ जिले में सबसे भारी गोलाबारी हुई।

नेशनल कॉन्फ्रेंस (एनसी) के नेता अब्दुल्ला ने कहा कि यह पहली बार है कि शहरों के बीचों-बीच गोले गिरे हैं। हमने 13 अनमोल जानें गंवाई हैं। आज यहां आने का मेरा उद्देश्य कम से कम उन घरों तक पहुंचना है जहां यह त्रासदी हुई है। अब्दुल्ला ने स्थानीय नागरिक समाज के सदस्यों से मुलाकात की और प्रतिकूल परिस्थितियों में सांप्रदायिक सद्भाव बनाए रखने के लिए पुंछ के लोगों की सराहना की।

मुख्यमंत्री ने स्पष्ट किया कि धार्मिक स्थलों को निशाना नहीं बनाया गया, लेकिन मदरसों, मंदिरों, दरगाहों और गुरुद्वारों के आस-पास के इलाकों को निशाना बनाया गया। अब्दुल्ला ने कहा कि सभी प्रभावित जिलों - पुंछ, राजौरी, जम्मू, बारामुला, कुपवाड़ा और बांदीपोरा के प्रशासन को संरचनात्मक क्षति का आकलन करने और मुआवजे के लिए रिपोर्ट प्रस्तुत करने का निर्देश दिया गया है।

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