इतिहास में मिसाल के तौर पर दर्ज होगा ‘ऑपरेशन सिंदूर’ : द्रौपदी मुर्मू
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के लिए बृहस्पतिवार को देश एवं सशस्त्र बलों के फौलादी संकल्प की सराहना की और कहा कि यह अभियान आतंकवाद के खिलाफ मानवता की लड़ाई में एक मिसाल के तौर पर इतिहास में दर्ज होगा। स्वतंत्रता दिवस की पूर्व संध्या पर राष्ट्र के नाम अपने संबोधन में उन्होंने आर्थिक विकास, राष्ट्रीय शिक्षा नीति, राष्ट्रीय खेल नीति, कल्याणकारी योजनाओं के लाभ, डिजिटल भुगतान की कामयाबी तथा कृत्रिम बुद्धिमत्ता (एआई) के क्षेत्र में सरकार द्वारा किए जा रहे प्रयासों का उल्लेख किया। मुर्मू ने कहा कि विश्व समुदाय ने भारत की इस नीति का संज्ञान लिया है कि हम आक्रमणकारी तो नहीं बनेंगे, लेकिन अपने नागरिकों की रक्षा के लिए जवाबी कार्रवाई करने में तनिक भी संकोच नहीं करेंगे।
राष्ट्रपति ने विभाजन की विभीषिका का उल्लेख भी किया और कहा, ‘हमें विभाजन से हुई पीड़ा को कदापि नहीं भूलना चाहिए। आज हम इतिहास की गलतियों के शिकार हुए लोगों को श्रद्धांजलि अर्पित करते हैं।’
मुर्मू ने कहा कि वैश्विक अर्थव्यवस्था में समस्याओं के बावजूद भारत पिछले वित्त वर्ष में 6.5 प्रतिशत की आर्थिक वृद्धि दर के साथ दुनिया की सबसे तेजी से बढ़ती अर्थव्यवस्थाओं में से एक है तथा मुद्रास्फीति पर नियंत्रण है और निर्यात बढ़ रहा है। उन्होंने कहा कि भारत 2047 तक एक विकसित अर्थव्यवस्था बनने के मार्ग पर अग्रसर है।
मुर्मू ने कृत्रिम बुद्धिमत्ता (एआई) के क्षेत्र में किए जा रहे प्रयासों की सराहना करते हुए कहा कि यह आकांक्षा है कि वर्ष 2047 तक भारत एआई का वैश्विक केंद्र बने। राष्ट्रपति ने कहा कि सरकार भ्रष्टाचार को बिल्कुल बर्दाश्त नहीं करने की नीति पर अमल करते हुए अनवरत सुशासन के साथ आगे बढ़ रही है।