नयी दिल्ली, 22 जून (एजेंसी)
सुप्रीमकोर्ट के न्यायाधीश जस्टिस अनिरूद्ध बोस ने मंगलवार को नारदा स्टिंग टेप मामले में पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और राज्य के कानून मंत्री की याचिकाओं पर सुनवाई से स्वयं को अलग कर लिया। मामले में सीबीआई द्वारा तृणमूल कांग्रेस के 4 नेताओं को गिरफ्तार किये जाने के दिन दोनों की भूमिकाओं के संबंध में याचिकाएं दाखिल की गईं। जस्टिस हेमंत गुप्ता और जस्टिस बोस की अवकाशकालीन पीठ जैसे ही आज की सुनवाई शुरू करने के लिए बैठी, जस्टिस गुप्ता ने कहा कि उनके साथी न्यायाधीश खुद को इन अपीलों पर सुनवाई से अलग कर रहे हैं। पीठ की अध्यक्षता करते हुए जस्टिस गुप्ता ने कहा कि अब इस विषय को चीझ जस्टिस एन वी रमण के समक्ष रखा जाएगा जो इस संबंध में फैसला ले सकते हैं। याचिकाओं को आज ही सुनवाई के लिए सूचीबद्ध किया जा सकता है।
शीर्ष अदालत को 3 याचिकाओं पर सुनवाई करनी थी जिनमें एक याचिका राज्य सरकार की है। इन याचिकाओं में 17 मई को सीबीआई द्वारा नारदा टेप मामले में तृणमूल कांग्रेस के चार नेताओं की गिरफ्तारी के बाद ममता बनर्जी और पश्चिम बंगाल के कानून मंत्री को उनकी भूमिकाओं पर हलफनामे दाखिल करने से इनकार करने के, हाईकोर्ट के फैसले को चुनौती दी गई है। आरोप हैं कि पश्चिम बंगाल की सत्तारूढ़ पार्टी के नेताओं ने सीबीआई को मामले में चार नेताओं की गिरफ्तारी के बाद उसका कानूनी कामकाज करने से रोकने में अहम भूमिका अदा की।