Menstrual Leave Policy: चंद्रशेखर ने लोकसभा में की मांग, मासिक धर्म अवकाश पर बने राष्ट्रीय नीति
Menstrual Leave Policy: आजाद समाज पार्टी (कांशीराम) के सांसद चंद्रशेखर ने बृहस्पतिवार को लोकसभा में कहा कि मासिक धर्म अवकाश को लेकर राष्ट्रीय नीति बननी चाहिए और इसके तहत असंगठित क्षेत्र में कार्यरत महिलाओं को शामिल किया जाना चाहिए।
उन्होंने सदन में शून्यकाल के दौरान यह मांग उठाई। चंद्रशेखर ने कहा कि मासिक धर्म अवकाश को लेकर कोई राष्ट्रीय नीति नहीं है, जबकि कई देशों में ऐसी नीति मौजूद है। उनका कहना था, ‘‘सरकार से आग्रह है कि मासिक धर्म अवकाश पर राष्ट्रीय नीति तैयार हो और असंगठित क्षेत्र में कार्यरत महिलाओं को इसमें शामिल किया जाए।''
दिल्ली में प्रदूषण पर बहाना बनाना बंद करे सरकार, ठोस कदम उठाए: मणिकम टैगोर
कांग्रेस सांसद मणिकम टैगोर ने राष्ट्रीय राजधानी में वायु प्रदूषण का मुद्दा बृहस्पतिवार को लोकसभा में उठाया और कहा कि सरकार को बहाना बनाना बंद कर, ठोस कदम उठाने चाहिए। उन्होंने सदन में शून्यकाल के दौरान यह विषय उठाया। सदन में कांग्रेस के सचेतक ने कहा, ‘‘दिल्ली में लोग वायु प्रदूषण से इतने परेशान हैं कि सांस नहीं ले पा रहे हैं।''
टैगोर ने दावा किया कि केंद्र और दिल्ली सरकार ने कोई ठोस कदम उठाने के बजाय सिर्फ दिखावटी कदम उठाए हैं। उन्होंने यह भी कहा कि सिर्फ ‘‘एक्यूआई नंबर को मैनेज'' किया जा रहा है। टैगोर ने कहा, ‘‘हर साल दूसरों पर जिम्मेदारी डाली जाती है, लेकिन जो लोग जरूरी कदम उठा सकते हैं, उनकी जवाबदेही तय नहीं होती।''
उन्होंने कहा, ‘‘समयबद्ध योजना बनाई जाए। इलेक्ट्रिक बसों, धूल की निगरानी की व्यवस्था बने, कार्यवाही पर नजर के लिए वॉर रूम बने।'' टैगोर का कहना था, ‘‘सरकार से कहना चाहता हूं कि बहाना मत बनाइए, ठोस कदम उठाइए।'' कांग्रेस सांसद अमरिंद सिंह राजा वड़िंग ने पंजाब में कानून व्यवस्था की स्थिति का मुद्दा शून्यकाल में उठाया।
उन्होंने दावा किया, ‘‘पूरा पंजाब डरा हुआ है। हर व्यक्ति को टेलीफोन आ रहे हैं और फिरौती मांगी जा रही है। फिरौती नहीं देने पर हत्या कर दी जा रही है। व्यापारी डरे हुए हैं। पूरा पंजाब डरा हुआ है।'' वड़िंग ने कहा कि केंद्र सरकार को उचित कदम उठाने चाहिए ताकि ‘‘पंजाब को बचाया जा सके।'' भारतीय जनता पार्टी के सांसद योगेंद्र चंदौलिया ने जवाहर नवोदय विद्यालय के शिक्षकों के लिए पेंशन की मांग उठाई।
केंद्रीय मंत्री पुरी के जेब में हाथ डाले रखने पर लोकसभा अध्यक्ष बिरला ने दी नसीहत
लोकसभा में बृहस्पतिवार को केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी को उस समय एक विचित्र स्थिति से गुजरना पड़ा जब अध्यक्ष ओम बिरला ने सदस्यों के प्रश्नों का जवाब देते समय उन्हें जेब में हाथ डाले रखने पर नसीहत दी।
निचले सदन में पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस मंत्री पुरी प्रश्नकाल के दौरान कांग्रेस सदस्य शशिकांत सेंथिल के पूरक प्रश्न का उत्तर दे रहे थे। इसी दौरान अध्यक्ष बिरला ने उन्हें टोकते हुए कहा, ‘‘माननीय मंत्री जी जेब में हाथ डालकर नहीं (जवाब दें)।'' अध्यक्ष ने इसी दौरान पुरी से यह भी कहा, ‘‘आराम से जवाब दीजिए। गुस्सा नहीं कीजिए। मुस्कराकर जवाब दीजिए।''
इस पर पुरी ने कहा, ‘‘यह सर प्रश्नकाल में उत्तर देने की (मेरी) शैली है।'' अध्यक्ष ने मंत्रियों और सदस्यों से प्रश्नकाल के दौरान सीधे चर्चा नहीं करने के बजाय आसन के माध्यम से प्रश्नोत्तर और संवाद करने को भी कहा।
उन्होंने प्रश्नकाल में सदस्यों से संक्षिप्त प्रश्न पूछने और मंत्रियों से उनका संक्षिप्त ही जवाब देने का अपना आग्रह भी दोहराया और कहा कि इससे अधिक सदस्यों को प्रश्नकाल में अपने प्रश्न पूछने का मौका मिल सकता है। बिरला ने कहा कि वह पहली बार चुनकर आए सदस्यों को और ऐसे सदस्यों को प्रश्नकाल में पूरक प्रश्न पूछने का अवसर प्राथमिकता से देने की कोशिश करते हैं, जिन्हें पहले मौका नहीं मिला हो।
गौरतलब है कि बिरला पहले भी प्रश्नकाल के दौरान मंत्रियों को जेब में हाथ नहीं डालने, सदस्यों से सीधे बातचीत नहीं करने, सदस्यों से हाथ मिलाते हुए सदन से नहीं जाने, संक्षिप्त उत्तर देने आदि की नसीहत देते रहे हैं।
