नयी दिल्ली/पटना, 3 सितंबर (एजेंसी)
बिहार के जद (यू) विधायक गोपाल मंडल ने शुक्रवार को सफाई दी कि पटना-नयी दिल्ली तेजस राजधानी ट्रेन में अंत:वस्त्रों में घूमते हुए, यात्रियों के साथ उनकी कहासुनी इसलिये हुई थी, क्योंकि वह पेट खराब होने की वजह से शौचालय जाने की जल्दी में थे। वहीं, इस मामले पर बिहार में विपक्षी नेताओं ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को घेरने की कोशिश की और इसे बिहार की छवि खराब करने वाली घटना बताया। घटना बृहस्पतिवार की है। जब कहासुनी झगड़े में बदल गई तो आरपीएफ और टिकट परीक्षक को हस्तक्षेप करना पड़ा। मंडल ने शुक्रवार को संवाददाताओं से कहा कि वह ट्रेन में चढ़ने के तुरंत बाद शौचालय जाने की जल्दी में थे। विधायक ने कहा कि उन्होंने आनन-फानन में अपना कुर्ता-पायजामा उतार दिया व तौलिये को कमर में लपेटने की बजाय कंधे पर डाल दिया। उन्होंने संवाददाताओं से कहा, ‘मैंने केवल अंत:वस्त्र पहने थे
क्योंकि यात्रा के दौरान मेरा पेट खराब हो गया था। मेरे पास इसे अपनी कमर पर लपेटने का समय नहीं था।’ जद (यू) विधायक ने कहा कि एक यात्री ने उन्हें रोका और पूछा कि वह ‘नग्न’ क्यों घूम रहे हैं। मंडल ने कहा, ‘मैं (शौचालय से) बाहर आया और पूछा कि वह कौन है, जिस पर यात्री ने जवाब दिया‘ मैं जनता हूं’ । मैंने उनसे पूछा कि एक विधायक के साथ ऐसा व्यवहार कौन करता है?’ मंडल ने कहा कि घटना के समय ट्रेन के डिब्बे में कोई महिला नहीं थी। विधायक ने कहा कि जब पुलिस उनसे बात करने आई, तो उन्होंने कहा कि वह इस बात के लिये शर्मिंदा हैं कि उन्होंने यात्री का हाथ पकड़कर उसे धक्का दे दिया। मंडल ने कहा, ‘इसके बाद मैंने यात्री से माफी मांगी।’ रेलवे अधिकारियों ने कहा कि घटना के बाद विधायक को ट्रेन के दूसरे कोच में स्थानांतरित कर दिया गया। इस वाकये पर लोजपा सांसद चिराग पासवान ने कहा कि मैं पूरे घटनाक्रम से वाकिफ नहीं हूं, लेकिन मैं इतना जरूर कहना चाहूंगा कि इस प्रकार की घटनाएं बिहार की छवि खराब करने के लिये जिम्मेदार होती हैं। उम्मीद करता हूं कि मुख्यमंत्री, जिनके पास अब गिने-चुने विधायक रह गए हैं, वह जन प्रतिनिधियों को सार्वजनिक आचार सिखाएंगे।’ राजद विधायक व मुख्य
प्रवक्ता भाई वीरेन्द्र ने कहा कि तथाकथित सुशासन बाबू को इस तरह के गलत व्यवहार पर ध्यान देना चाहिये।