Haryana: जनहित के मुद्दों पर कांग्रेस ने राज्यपाल को सौंपा ज्ञापन, सरकार पर लगाए गंभीर आरोप
Haryana Congress: हरियाणा में लगातार बिगड़ते हालातों को लेकर बृहस्पतिवर को कांग्रेस ने राज्यपाल का दरवाज़ा खटखटाते हुए एक विस्तृत ज्ञापन सौंपा है। कांग्रेस ने आरोप लगाया कि सरकार की लापरवाही, भ्रष्टाचार और संवेदनहीनता के कारण किसानों, गरीबों और आम नागरिकों का जीवन संकट में पड़ गया है। ज्ञापन में भारी बारिश से हुए कृषि नुकसान, धान खरीद में अनियमितताओं, बढ़ते अपराध, और राशन कार्ड घोटाले सहित कई मुद्दों को उठाते हुए तत्काल हस्तक्षेप की मांग की गई।
कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष राव नरेंद्र सिंह तथा पूर्व सीएम व नेता प्रतिपक्ष भूपेंद्र सिंह हुड्डा की अगुवाई में विधायकों के प्रतिनिधिमंडल ने राज्यपाल प्रोफेसर असीम कुमार घोष से मुलाकात कर ज्ञापन सौंपा। ज्ञापन में कांग्रेस ने राज्यपाल से मांग की कि वे राज्य सरकार को अपने संवैधानिक दायित्वों का पालन करने के निर्देश दें। किसानों को मुआवज़ा दिया जाए, राशन कार्ड घोटाले की जांच कराई जाए, खरीद-फरोख्त की अनियमितताओं पर कार्रवाई हो और अपराधों को रोकने के लिए कठोर कदम उठाए जाएं।
कांग्रेस ने कहा कि प्रदेश की जनता को सुरक्षित, पारदर्शी और न्यायपूर्ण शासन मिलना उनका अधिकार है और यह सुनिश्चित करना सरकार की जिम्मेदारी है। ज्ञापन पर कांग्रेस विधायक दल, प्रदेश कांग्रेस कमेटी और कई विधायकों ने हस्ताक्षर कर अपनी एकजुटता प्रकट की।
राव नरेंद्र सिंह ने कहा कि बीते दिनों प्रदेश में हुई भारी बारिश और ओलावृष्टि ने किसानों की खरीफ फसलों को पूरी तरह बर्बाद कर दिया। धान, कपास और कई अन्य फसलें जलभराव में सड़ गईं, जिससे किसानों को भारी आर्थिक नुकसान हुआ। राज्यपाल को बताया कि सरकार अभी तक न तो सही सर्वे करवा पाई है और न ही मुआवज़ा देने की कोई ठोस घोषणा की है। कई क्षेत्रों में खेत अब भी पानी में डूबे हुए हैं, जिससे अगली फसल बोने का समय निकलता जा रहा है। उन्होंने मांग की कि सरकार तुरंत विशेष राहत पैकेज की घोषणा कर प्रभावित किसानों को प्रति एकड़ पचास से साठ हज़ार रुपये का मुआवज़ा दे।
धान और कपास औने-पौने दाम पर बिके
पूर्व सीएम भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने राज्य सरकार के न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) पर बड़े-बड़े दावों को भी कटघरे में खड़ा किया। उन्होंने कहा कि सरकार भले ही 24 फसलों पर एमएसपी देने की बात करती है, लेकिन जमीन पर किसानों को इसका लाभ नहीं मिल रहा। धान, बाजरा, मूंगऔर कपास जैसी फसलों को किसान एमएसपी से सैकड़ों रुपये कम में बेचने को मजबूर रहे। कई मंडियों में अनियमित खरीद, फर्जी लेन-देन और किसानों को सही कीमत न मिलने की शिकायतें सामने आईं, जिससे किसानों को भारी आर्थिक नुकसान हुआ। कांग्रेस ने कहा कि सरकार की नीतियां किसान हितैषी होने का सिर्फ दिखावा कर रही हैं, जबकि हकीकत में किसानों के साथ निरंतर अन्याय हो रहा है।
चुनाव से पहले कार्ड बनवाए, जीत के बाद काटे
कांग्रेस ने अपने ज्ञापन में राशन कार्ड घोटाले को एक बड़ा और शर्मनाक मामला बताया है। पार्टी ने आरोप लगाया कि 2024 के चुनावों से पहले सरकार ने लाखों गरीब लोगों को रातों-रात बीपीएल श्रेणी में डालकर राशन कार्ड जारी किए और मुफ्त अनाज का लालच देकर उनके वोट हासिल किए। लेकिन चुनाव समाप्त होने के बाद बड़ी संख्या में उन्हीं गरीबों के राशन कार्ड रद्द कर दिए गए। कांग्रेस ने पूछा कि अगर ये कार्ड गलत थे तो इन्हें किसने बनाया और किसके आदेश से बनाए गए। गरीबों को क्यों सज़ा दी जा रही है। कांग्रेस ने मांग की कि इस पूरे घोटाले की जांच हरियाणा हाईकोर्ट के सिटिंग जज से कराई जाए ताकि सच जनता के सामने आ सके।
हरियाणा में कानून-व्यवस्था पूरी तरह चरमराई
ज्ञापन में कांग्रेस ने आरोप लगाया कि प्रदेश में अपराधों की रफ्तार सरकार के तमाम दावों की पोल खोल रही है। हत्या, लूट, बलात्कार, फिरौती और चोरी जैसी घटनाएं आम हो चुकी हैं। जनता खुद को असुरक्षित महसूस कर रही है और व्यापारी वर्ग लगातार फिरौती की धमकियों से परेशान है। कांग्रेस ने कहा कि सरकार दावा करती है कि प्रदेश में बड़ी आपराधिक गैंग सक्रिय नहीं हैं, लेकिन जमीन पर तस्वीर बिल्कुल अलग है।
लगभग अस्सी से अधिक अपराधी गिरोह सक्रिय रूप से संगठित अपराध को अंजाम दे रहे हैं। कांग्रेस ने यह भी आरोप लगाया कि कुछ घटनाओं में उच्च पुलिस अधिकारियों की मिलीभगत तक सामने आई है, जिससे जनता का भरोसा कानून-व्यवस्था पर से उठ रहा है। पार्टी ने मांग की कि ऐसे सभी मामलों की न्यायिक जांच हाईकोर्ट के सिटिंग जज की निगरानी में कराई जाए ताकि अपराधियों और दोषी अधिकारियों दोनों को सख्त सज़ा मिल सके।
हर वर्ग त्रस्त, सरकार सिर्फ प्रचार में मस्त
राव नरेंद्र सिंह ने कहा कि सरकार ने प्रदेश के हर तबके को निराश किया है। किसानों को राहत नहीं, गरीबों को राशन नहीं, और आम नागरिक को सुरक्षा नहीं मिल रही। चुनावी वादे सिर्फ मंचों की चकाचौंध तक सीमित रहे और सरकार ने गरीबों व किसानों को केवल वोट बैंक की तरह इस्तेमाल किया। कांग्रेस ने दावा किया कि सरकार की संवेदनहीनता ने प्रदेश में असंतोष और आक्रोश की लहर पैदा कर दी है।
ये विधायक रहे मौजूद
इस मौके पर पूर्व स्पीकर व थानेसर विधायक अशोक अरोड़ा, पूर्व मंत्री व टोहाना विधायक परमिंदर सिंह, नूंह विधायक आफताब अहमद, रोहतक विधायक बीबी बतरा, कलानौर विधायक शकुंतला खटक, नारायणगढ़ विधायक शैली चौधरी, जगाधरी विधायक अकरम खान, आदमपुर विधायक चंद्रप्रकाश, ऐलनाबाद विधायक भरत सिंह बैनीवाल, शाहबाद विधायक रामकरण काला, महम विधायक बलराम दांगी, कैथल विधायक आदित्य सुरजेवाला, गुहला विधायक देवेंद्र हंस, नांगल-चौधरी विधायक मंजू चौधरी, नारनौंद विधायक जस्सी पेटवाड़, कलायत विधायक विकास सहारण, उकलाना विधायक नरेश सेलवाल, रतिया विधायक सरदार जरनैल सिंह, लोहारू विधायक राजबीर फरटिया, बरोदा विधायक इंदूराज नरवाल ‘भालू’ मुख्य रूप से मौजूद रहे।
