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10 हजार रुपये नहीं दिए होते तो जदयू 25 सीट भी नहीं जीत पाती : प्रशांत

जन सुराज पार्टी के प्रमुख प्रशांत किशोर ने मंगलवार को दावा किया कि अगर बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की जनता दल यूनाइटेड (जदयू) ने प्रत्येक विधानसभा क्षेत्र में 60 हजार से अधिक लाभार्थियों को 10 हजार रुपये नहीं दिये...

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जन सुराज पार्टी के प्रमुख प्रशांत किशोर ने मंगलवार को दावा किया कि अगर बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की जनता दल यूनाइटेड (जदयू) ने प्रत्येक विधानसभा क्षेत्र में 60 हजार से अधिक लाभार्थियों को 10 हजार रुपये नहीं दिये होते तो पार्टी 25 सीट भी नहीं जीत पाती। किशोर ने आरोप लगाया कि विधानसभा चुनाव में जदयू को बड़ी संख्या में सीट इसलिए मिलीं क्योंकि प्रत्येक विधानसभा क्षेत्र में 60 हजार से अधिक लाभार्थियों को 10 हजार रुपये दिए गए और राज्यभर की 1.50 करोड़ महिलाओं को स्व-रोजगार योजना के तहत दो लाख रुपये देने का वादा किया गया। किशोर ने संवाददाताओं से कहा कि राजग सरकार ने जनता के पैसों से 40 हजार करोड़ रुपये की घोषणाएं कीं और चुनाव से ठीक पहले बड़ी राशि बांटी गई। उन्होंने कहा कि हमने लोगों को मुद्दे समझाने की ईमानदार कोशिश की लेकिन चुनाव में परिणाम बेहतर नहीं आए। इसकी पूरी जिम्मेदारी मेरी है। मेरी पार्टी से कोई विधायक नहीं बना, लेकिन अब जनता के बीच जाकर संघर्ष करेंगे। किशोर ने कहा कि अंग्रेज़ी में एक मुहावरा है, आप तब तक नहीं हारते, जब तक आप खेल छोड़ नहीं देते। मेरी पार्टी ने न तो समाज को बांटा और न ही लोगों के वोट खरीदे हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि ‘वोट चोरी' एक राष्ट्रीय समस्या है और विपक्षी दलों को इसके समाधान पर गंभीरता से विचार करना चाहिए तथा जरूरत पड़े तो हाईकोर्ट का रुख करना चाहिए। किशोर ने स्वीकार किया कि वह बिहार को समझने में विफल रहे। उन्होंने कहा कि अगर राज्य के 1.50 करोड़ महिलाओं को स्वरोजगार स्थापित करने के लिए सरकार अगले छह महीने में दो लाख रुपये दे देती है तो राजनीति छोड़ दूंगा।

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