चंडीगढ़, 1 अक्तूबर (एजेंसी)
पंजाब के पूर्व मुख्यमंत्री कैप्टन अमरेंद्र सिंह ने अपनी धर्मनिरपेक्ष छवि पर सवाल उठाये जाने के कुछ ही घंटों बाद शुक्रवार को कांग्रेस नेता हरीश रावत पर पलटवार करते हुए कहा कि उनका यह बयान पार्टी की दयनीय हालत के चलते आया है। रावत की टिप्पणी की हंसी उड़ाते हुए अमरेंद्र ने एक बयान में कहा, ‘मुख्यमंत्री के तौर पर इस्तीफा देने से तीन हफ्ते पहले, मैंने (कांग्रेस अध्यक्ष) सोनिया गांधी को अपने इस्तीफे की पेशकश की थी, लेकिन उन्होंने मुझे पद पर बने रहने को कहा था।’ कुछ महीनों से उन पर सिर्फ कांग्रेस के प्रति निष्ठावान होने का दबाव था। रावत का कहना था कि (केंद्रीय गृह मंत्री) अमित शाह जैसे भाजपा नेताओं से अमरेंद्र सिंह की नजदीकी उनकी धर्मनिरपेक्ष छवि पर सवाल खड़े करती है।
अमरेंद्र ने कहा कि उनके कटु आलोचक और दुश्मन भी इस बारे में उनकी सत्यनिष्ठा पर संदेह नहीं जताएंगे। ‘लेकिन मैं अब हैरान नहीं हूं कि रावत जैसे कांग्रेस के एक वरिष्ठ नेता मेरी धर्मनिरपेक्ष छवि पर सवाल खड़े कर रहे हैं। उन्होंने कहा, ‘पार्टी ने अब पंजाब में खुद को जिस दयनीय हालत में पाया है, यह टिप्पणी उसी के चलते आई है…।’
रावत खुद को मेरी जगह रख कर देखें : सिंह ने कहा कि कांग्रेस विधायक दल की बैठक से महज कुछ घंटे पहले जिस अपमानजनक तरीके से उन्हें इस्तीफा देने के लिए मजबूर किया गया, वह सार्वजनिक रिकार्ड का एक विषय है। ‘दुनिया ने मेरे साथ हुए अपमान को देखा और फिर भी श्रीमान रावत इसके उलट दावे कर रहे हैं।’ उन्होंने कहा कि रावत को खुद को उनकी जगह रख कर देखना चाहिए, तब शायद ‘वह महसूस करेंगे कि पूरा प्रकरण कितना अपमानजनक था।’