नयी दिल्ली, 5 जुलाई (एजेंसी)
चुनाव आयोग ने मतदाताओं द्वारा अपना आधार डाटा साझा करने के लिए भरे गए फॉर्म से कोई भी जानकारी लीक होने की सूरत में मतदाता पंजीकरण अधिकारियों के खिलाफ ‘कड़ी’ अनुशासनात्मक कार्रवाई करने की चेतावनी दी है। चुनाव आयोग ने दोहरी प्रविष्टियों को हटाने के लिए आधार को मतदाता सूची के साथ जोड़ने की अनुमति देने वाले नियम जारी किए जाने के कुछ दिनों बाद यह चेतावनी जारी की है। आयोग ने इस बात पर भी जोर दिया है कि मतदाताओं द्वारा आधार डाटा साझा करना ‘स्वैच्छिक’ है। चार जुलाई को सभी राज्यों और केंद्र-शासित प्रदेशों के मुख्य निर्वाचन अधिकारियों को भेजे गए पत्र में चुनाव आयोग ने कहा है कि पुनरीक्षण के दौरान विशेष अभियान तिथियों के साथ मेल खाने वाली तिथियों पर क्लस्टर स्तर पर विशेष शिविर आयोजित किए जा सकते हैं, जहां मतदाताओं को हार्ड कॉपी में फॉर्म-6 बी में स्वेच्छा से अपना आधार नंबर देने के लिए राजी किया जा सकता है।