Delhi Air Pollution : गंभीर स्तर पर पहुंची दिल्ली की वायु गुणवत्ता, GRAP-4 लागू
राष्ट्रीय राजधानी को घने कोहरे की चादर ने ढक लिया, जिससे वायु गुणवत्ता सूचकांक 431 दर्ज किया गया, जो 'गंभीर' श्रेणी के अंतर्गत आता है। इसके चलते वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग को श्रेणीबद्ध प्रतिक्रिया कार्य योजना के चरण 4 को लागू करना पड़ा।
क्षेत्र में वायु गुणवत्ता की स्थिति को और बिगड़ने से रोकने के प्रयास में, सीएक्यूएम की जीआरएपी संबंधी उप-समिति ने मौजूदा जीआरएपी के चरण-IV - 'गंभीर ' वायु गुणवत्ता के तहत परिकल्पित सभी कार्रवाइयों को तत्काल प्रभाव से पूरे एनसीआर में लागू करने का निर्णय लिया है। यह एनसीआर में पहले से लागू जीआरपी के चरण एक, दो और तीन के तहत की गई कार्रवाइयों के अतिरिक्त है।
जीआरपी-4 के तहत लगाए गए प्रतिबंधों में गैर-जरूरी ट्रकों और गैर-बीएस-वीआई हल्के वाणिज्यिक वाहनों के प्रवेश पर प्रतिबंध शामिल है। इसके अलावा, डीजल से चलने वाले मध्यम और भारी मालवाहक वाहनों पर भी प्रतिबंध है, सिवाय उन वाहनों के जो आवश्यक वस्तुओं को ले जा रहे हों। सड़क, राजमार्ग, फ्लाईओवर व बिजली लाइनों जैसी सार्वजनिक अवसंरचना परियोजनाओं के सभी निर्माण और विध्वंस कार्य निलंबित कर दिए गए हैं। इसके अतिरिक्त, पैनल ने राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र में कार्यालयों को 50 प्रतिशत क्षमता पर संचालित करने और शेष कर्मचारियों को घर से काम करने का सुझाव दिया है।
सीपीसीबी के आंकड़ों के अनुसार, दिल्ली में कुल निगरानी केंद्रों में से कम से कम 25 केंद्र 'गंभीर' श्रेणी में थे, जहां एक्यूआई का स्तर 400 से अधिक था। जहांगीरपुरी में सबसे अधिक एक्यूआई 478 दर्ज किया गया, इसके बाद बावाना में 476, आनंद विहार में 471, आईटीओ और वजीरपुर में 469 दर्ज किया गया। कुछ ही स्टेशनों पर AQI 400 से कम दर्ज किया गया, जिनमें नजफगढ़ (340) और आईजीआई हवाई अड्डे (371) शामिल हैं।
