Deepika AD Dispute : दीपिका के हिजाब पहनने पर बवाल, ट्रोलर्स बोले- पैसे दो कुछ भी पहन लूंगी, अब माई चॉइस का क्या हुआ...
Deepika AD Dispute : अभिनेत्री दीपिका पादुकोण अबू धाबी पर्यटन के लिए एक प्रचार अभियान को लेकर सोशल मीडिया पर फिर से चर्चा में हैं, जिसमें वह शेख जायद ग्रैंड मस्जिद में हिजाब पहने हुए दिखाई दे रही हैं। अपने पति और अभिनेता रणवीर सिंह के साथ इस विज्ञापन में नज़र आ रहीं दीपिका पहले भी कई विवादों में घिर चुकी हैं।
इससे पहले, संशोधित नागरिकता कानून (सीएए) विरोधी प्रदर्शनों के दौरान दिल्ली के जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) में अपनी उपस्थिति और "पठान" के गाने "बेशरम रंग" में नारंगी रंग की बिकनी पहनने के लिए भी उन्हें सोशल मीडिया पर आलोचनाओं का सामना करना पड़ा था। पादुकोण अब अपने पति के साथ मिलकर अबू धाबी के संस्कृति और पर्यटन विभाग के गंतव्य ब्रांड ‘एक्सपीरियंस अबू धाबी' की ब्रांड एंबेसडर बन गई हैं। "मेरा सुकून" शीर्षक वाले इस प्रचार वीडियो में यह जोड़ा अबू धाबी की सैर करता हुआ दिखाई दे रहा है और रणवीर, दीपिका को शहर की अपनी कुछ पसंदीदा जगहों से परिचित करा रहे हैं, जिनमें कई सांस्कृतिक और स्थापत्य स्थल शामिल हैं।
एक दृश्य में, यह जोड़ा ग्रैंड मस्जिद में है और दीपिका अबाया और हिजाब पहने हुए दिखाई दे रही हैं। प्रचार वीडियो के सामने आने के बाद कुछ लोगों ने पादुकोण (39) को रूढ़िवादी पोशाक को बढ़ावा देने के लिए "फर्जी नारीवादी" कहा, जबकि अन्य ने उनके निर्णय का बचाव किया और अरब संस्कृति के प्रति उनके सम्मान की बात कही। पादुकोण की आलोचना करने वालों ने तर्क दिया कि हिजाब पहनने का उनका निर्णय 2015 के "माई चॉइस" वीडियो में उनकी उपस्थिति के बिल्कुल विपरीत है, जिसमें उन्होंने महिलाओं को अपनी शर्तों पर जीने, कपड़े पहनने और प्यार करने की स्वतंत्रता की वकालत की थी।
‘एक्स' पर एक प्रयोक्ता ने पूछा, "दीपिका पादुकोण का वीडियो 'माई चॉइस' याद है? 'बिंदी लगाना या न लगाना, मेरी मर्ज़ी'। 'मैं क्या कपड़े पहनूंगी, यह मैं ही तय करती हूं। अब दीपिका पादुकोण ने हिजाब पहनकर अबू धाबी टूरिज्म का प्रचार करते हुए वीडियो बनाया है। 'माई चॉइस' का क्या हुआ?" इसी तरह की एक और पोस्ट में कहा गया, "हिंदू परंपराओं पर-'मेरा शरीर, मेरी पसंद' लेकिन पैसे के लिए 'हिजाब' पहनने में कोई समस्या नहीं। यह दीपिका पादुकोण जैसी फर्जी नारीवादियों की वास्तविकता है। वे नारीवादी नहीं हैं...वे सिर्फ 'हिंदू विरोधी' हैं।" एक पोस्ट में लिखा था, "दीपिका पादुकोण की राय...बिंदी पर: मेरी पसंद। हिजाब पर: पैसे दो कुछ भी पहन लूंगी। मेरी पसंद पैसे तक सीमित है, आखिरकार वह एक अभिनेत्री हैं, पैसे के लिए कुछ भी कर सकती हैं, नारीवाद और स्वतंत्रता जैसी कोई चीज नहीं है, वह पैसे के लिए अपनी आत्मा बेच सकती हैं।"
एक व्यक्ति ने आश्चर्य जताया कि दीपिका ने किसी भारतीय धार्मिक स्थल का इस तरह प्रचार क्यों नहीं किया। उपयोगकर्ता ने लिखा, "दीपिका पादुकोण ने अबू धाबी मस्जिद का प्रचार करने के लिए हिजाब पहना लेकिन वह कभी अपने धर्म या किसी तीर्थ स्थल का प्रचार नहीं करेंगी।" हालांकि कई प्रयोक्ताओं ने पादुकोण का समर्थन भी किया। एक प्रयोक्ता ने ‘एक्स' पर उनकी तस्वीरें साझा करते हुए कहा, "यह दीपिका पादुकोण हैं, जब वह मंदिर गई थीं। वह हमेशा से भारत की संस्कृति का सम्मान करती रही हैं। पर्यटन विज्ञापन में, उन्होंने वही पहना है जो उस संस्कृति के लिए उपयुक्त है। आपको ऐसे व्यक्ति पर गर्व होना चाहिए जो किसी भी देश में जाकर सम्मान दिखा सकता है।"
वहीं एक पोस्ट में कहा गया, "इस खूबसूरत हिजाब ने दीपिका को ग्लैमरस लुक दिया।" एक प्रयोक्ता ने लिखा, "अरब संस्कृति के प्रति उनका सम्मान और उनका हिजाब पहनना मेरे लिए उनके प्रति प्रेम को और बढ़ा देता है..।" यह प्रचार अभियान अबू धाबी को "सुकून" वाले गंतव्य के रूप में प्रस्तुत करता है, तथा यह पहली बार है जब दीपिका और रणवीर ने संयुक्त रूप से किसी वैश्विक पर्यटन ब्रांड का प्रतिनिधित्व किया है।