Tribune
PT
Subscribe To Print Edition About the Dainik Tribune Code Of Ethics Advertise with us Classifieds Download App
search-icon-img
Advertisement

Congress : कांग्रेस ने मांगा पीएम मोदी से स्पष्टीकरण, कहा - ट्रंप से हुई बातचीत पर बुलाई जाए सर्वदलीय बैठक, देश की विदेश नीति पर पर्दा क्यों?

ट्रंप से जो बात हुई है, उस पर सर्वदलीय बैठक बुलाएं और देश को विश्वास में लें प्रधानमंत्री: कांग्रेस

  • fb
  • twitter
  • whatsapp
  • whatsapp
Advertisement

नयी दिल्ली, 18 जून (भाषा)

Congress : कांग्रेस ने बुधवार को कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को विदेश दौरे से लौटते ही सर्वदलीय बैठक बुलाकर सभी राजनीतिक दलों को यह बताना चाहिए कि अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप से फोन पर उनकी क्या बातचीत हुई है। पार्टी महासचिव जयराम रमेश ने यह भी कहा कि पाकिस्तानी सेना प्रमुख आसिम मुनीर को व्हाइट हाउस में भोज के लिए बुलाया जाना भारत के लिए कूटनीतिक झटका है और इस पर प्रधानमंत्री को ट्रंप के समक्ष नाराजगी जतानी चाहिए थी।

Advertisement

व्हाइट हाउस की ओर से बुधवार के लिए जारी राष्ट्रपति ट्रंप के कार्यक्रम में लिखा गया है कि वह कैबिनेट रूम में पाकिस्तानी जनरल आसिम मुनीर के साथ आज दोपहर का भोजन करेंगे। रमेश ने 'पीटीआई-भाषा' से कहा, "खबर आई है कि प्रधानमंत्री मोदी और राष्ट्रपति ट्रंप के बीच बातचीत हुई है। कहा गया है कि प्रधानमंत्री ने ट्रंप से कहा कि व्यापार पर चर्चा नहीं हुई थी और मध्यस्थता की कोई गुंजाइश नहीं है और यह भारत और पाकिस्तान के बीच हल किया जाने वाला मामला है।" उन्होंने सवाल किया कि प्रधानमंत्री यह बात सर्वदलीय बैठक में क्यों नहीं कहते?

Advertisement

उन्होंने कहा, "इसीलिए हमने संसद के विशेष सत्र की मांग की ताकि प्रधानमंत्री राष्ट्र को विश्वास में लें और वे सारी बातें कहें जो उन्हें राष्ट्रपति ट्रंप से कहनी चाहिए थीं।" इससे पहले, विदेश सचिव विक्रम मिसरी ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के बीच फोन पर हुई करीब 35 मिनट की बातचीत पर एक बयान में कहा, ‘‘प्रधानमंत्री मोदी ने स्पष्ट किया कि ऑपरेशन सिंदूर के सिलसिले में व्यापार से जुड़े किसी विषय पर चर्चा नहीं हुई। उन्होंने कहा कि भारत ने कभी तीसरे पक्ष की मध्यस्थता स्वीकार नहीं की और भविष्य में भी ऐसी कोई मध्यस्थता स्वीकार नहीं करेगा।''

विदेश सचिव के मुताबिक, मोदी ने ट्रंप से फोन पर बात की और उन्हें स्पष्ट रूप से कहा कि भारत ने ‘ऑपरेशन सिंदूर' के दौरान पाकिस्तान पर हमले पड़ोसी देश के अनुरोध पर ‘‘रोके'' थे न कि अमेरिका द्वारा मध्यस्थता या किसी व्यापार समझौते की पेशकश के कारण। मिसरी ने बताया कि मोदी और ट्रंप का जी7 शिखर सम्मेलन के इतर मुलाकात करने का कार्यक्रम था लेकिन अमेरिकी राष्ट्रपति के शिखर सम्मेलन से समय से पहले विदा लेने के कारण यह बैठक नहीं हो पायी। उन्होंने कहा कि ट्रंप ने मोदी से बात करने पर जोर दिया, जिसके बाद फोन पर बातचीत करायी गयी।

रमेश ने कहा कि जब प्रधानमंत्री स्वदेश लौटें तो उन्हें सर्वदलीय बैठक बुलानी चाहिए और बताना चाहिए कि राष्ट्रपति ट्रंप के साथ उनकी 35 मिनट की बातचीत इसी बारे में थी। उन्होंने उल्लेख किया कि राष्ट्रपति ट्रंप ने 14 बार यह दावा किया कि भारत और पाकिस्तान के बीच उन्होंने मध्यस्थता करवाई। रमेश का कहना है, "ट्रंप के 14 दावों पर अपनी चुप्पी तोड़ने में उन्हें (मोदी को) 37 दिन लग गए। इसलिए उन्हें राष्ट्र को विश्वास में लेना चाहिए। कांग्रेस महासचिव के अनुसार, ट्रंप के मध्यस्थता संबंधी दावे, आसिम मुनीर को व्हाइट हाउस में दोपहर के भोज पर बुलाया जाना और माइकल कुरिल्ला का बयान प्रधानमंत्री मोदी की कूटनीति के लिए तीन बड़े झटके हैं।

उन्होंने कहा, "ये अप्रत्याशित झटके हैं। हमें दिखावे पर कम और तथ्य पर अधिक निर्भर रहना चाहिए। राष्ट्र को विश्वास में लेने और सामूहिक इच्छाशक्ति और संकल्प व्यक्त करने के अलावा कोई विकल्प नहीं है।" रमेश ने आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री विभाजन का काम करते हैं। रमेश का कहना था, "उन्होंने ट्रंप से जो कुछ भी कहा है, वह बातचीत टेलीफोन कॉल में हुई हैं जिसे विदेश मंत्रालय ने जारी किया है। वह विपक्षी दलों से बात करें और वही बातें अपने मुंह से कहें।" कांग्रेस नेता ने कहा कि प्रधानमंत्री को खुद सदन में ट्रंप के दावों का खंडन करना चाहिए। उन्होंने यह भी कहा कि मुनीर को व्हाइट हाउस में भोज पर बुलाए जाने को लेकर अमेरिकी राष्ट्रपति से नाराजगी जताई जानी चाहिए थी।

रमेश ने कहा, "अगर इंदिरा गांधी प्रधानमंत्री होतीं, तो वह निश्चित रूप से अपनी नाराजगी अमेरिका के राष्ट्रपति निक्सन या रीगन को बतातीं।" इससे पहले रमेश ने ‘एक्स' पर पोस्ट किया, "फील्ड मार्शल आसिम मुनीर, वह व्यक्ति है जिसकी भड़काऊ और उकसाने वाली टिप्पणी सीधे 22 अप्रैल के पहलगाम आतंकी हमलों से जुड़ी थी। उसे आज व्हाइट हाउस में राष्ट्रपति ट्रंप के साथ दोपहर के भोज पर बुलाया गया है। " उन्होंने सवाल किया कि क्या यही वजह है कि राष्ट्रपति ट्रंप ने एक दिन पहले ही जी7 शिखर सम्मेलन छोड़ दिया और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को गले लगाने से मना कर दिया?

रमेश ने कहा कि राष्ट्रपति ट्रंप ने खुद 14 बार यह दावा किया है कि उन्होंने भारत और पाकिस्तान के बीच युद्ध विराम करवाया है, जिसका मतलब है कि उन्होंने ऑपरेशन सिंदूर को खत्म करा दिया। उनका कहना है, "अमेरिकी केंद्रीय कमान के प्रमुख जनरल माइकल कुरिल्ला ने आतंकवाद विरोधी अभियानों में पाकिस्तान को 'अभूतपूर्व' साझेदार बताया था।" रमेश ने दावा किया, "नमस्ते ट्रंप द्वारा हाउडी मोदी को यह तिहरा झटका है! भारतीय कूटनीति बिखर रही है और प्रधानमंत्री पूरी तरह से चुप हैं।"

Advertisement
×