मुख्य समाचारदेशविदेशहरियाणाचंडीगढ़पंजाबहिमाचलबिज़नेसखेलगुरुग्रामकरनालडोंट मिसएक्सप्लेनेरट्रेंडिंगलाइफस्टाइल

केंद्र ने लेह हिंसा की जांच SC के सेवानिवृत्त न्यायाधीश से कराने का दिया आदेश

अपने बयान में गृह मंत्रालय ने निरंतर बातचीत के प्रति अपनी प्रतिबद्धता दोहराई
Advertisement

केंद्र ने शुक्रवार को लेह में 24 सितंबर को हुई हिंसक झड़पों की सुप्रीम कोर्ट के सेवानिवृत्त न्यायाधीश की अध्यक्षता में न्यायिक जांच की घोषणा की, जो लद्दाख के प्रदर्शनकारी समूहों की एक प्रमुख मांग है। लेह में हुई इस झड़प में 1999 के करगिल युद्ध में हिस्सा लेने वाले सैनिक सहित चार लोगों की जान चली गई थी।

केंद्रीय गृह मंत्रालय द्वारा जारी अधिसूचना के अनुसार, सुप्रीम कोर्ट के सेवानिवृत्त न्यायाधीश बी एस चौहान की अध्यक्षता में जांच आयोग को ‘‘कानून व्यवस्था के हालात बिगड़ने, पुलिस कार्रवाई और इसके परिणामस्वरूप चार लोगों की दुर्भाग्यपूर्ण मौत'' के लिए जिम्मेदार परिस्थितियों की पड़ताल करनी है। सेवानिवृत्त जिला एवं सत्र न्यायाधीश मोहन सिंह परिहार न्यायिक सचिव के रूप में कार्य करेंगे।

Advertisement

आईएएस अधिकारी तुषार आनंद जांच आयोग के प्रशासनिक सचिव होंगे। 24 सितंबर को सुरक्षा बलों और प्रदर्शनकारियों के बीच हुई झड़पों में चार नागरिक मारे गए और 90 घायल हो गए थे। ये प्रदर्शनकारी केंद्र शासित प्रदेश लद्दाख के लिए राज्य का दर्जा और छठी अनुसूची में शामिल करने की मांग रहे थे।

जांच आयोग की घोषणा आंदोलनरत पक्षों - लेह एपेक्स बॉडी और करगिल डेमोक्रेटिक अलायंस (केडीए) के साथ बातचीत बहाल करने के प्रयास के रूप में की गई है, जिन्होंने हिंसा के बाद गृह मंत्रालय की उच्चस्तरीय समिति के साथ बातचीत स्थगित कर दी थी। अपने बयान में गृह मंत्रालय ने निरंतर बातचीत के प्रति अपनी प्रतिबद्धता दोहराई।

Advertisement
Tags :
Dainik Tribune Hindi NewsDainik Tribune newsHindi NewsIndiajudicial inquiryKDALadakh ProtestsLadakh violencelatest newsLaw and orderlehUnion Home Ministryदैनिक ट्रिब्यून न्यूजहिंदी समाचार
Show comments