Bihar Assembly Election : अशोक गहलोत का राजग पर सीधा हमला, कहा- झूठ के 20 साल, रिपोर्ट कार्ड कहाँ है?
Bihar Assembly Election : राजस्थान के पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने शुक्रवार को बिहार विधानसभा चुनाव के लिए जारी राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) के घोषणा पत्र पर तीखी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि राजग के नेता “पत्रकारों के सवालों से डरते हैं” और उनका घोषणा पत्र “झूठ का पुलिंदा” है। उन्होंने मांग की कि राजग को बिहार में अपनी सरकार के 20 साल के कामकाज पर रिपोर्ट कार्ड जारी करना चाहिए।
गहलोत ने कहा कि राजग नेताओं का संवाददाता सम्मेलन मात्र 26 सेकंड चला। वे इस बात से डर रहे थे कि पत्रकार उनसे शासन के बारे में असहज सवाल पूछ सकते हैं। राजस्थान के पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी ने संवाददाता सम्मेलन में जो बातें कही हैं, वे “संपूर्ण रूप से असत्य” हैं। राजग नेताओं को सबसे पहले अपने 20 साल के शासन का रिपोर्ट कार्ड जनता के सामने रखना चाहिए था। हम यह उम्मीद कर रहे थे कि संवाददाता सम्मेलन की शुरुआत उसी रिपोर्ट कार्ड से होगी, लेकिन ऐसा नहीं हुआ।
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता ने कहा कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को अपने 20 साल के कार्यकाल का हिसाब जनता को देना चाहिए। उन्होंने कहा कि तेजस्वी यादव ने जो भी वादे किए हैं, उन पर सरकार बनने के बाद कैबिनेट में मंथन होगा। हमने राजस्थान में भी इसी तरह अपने वादों को पूरा किया। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने स्वयं घोषणा पत्र पर कोई टिप्पणी क्यों नहीं की।
उन्होंने कहा कि क्या वे अब इस स्थिति में नहीं हैं कि अपने घोषणा पत्र पर बोल सकें? महागठबंधन इसे अपनी जनसभाओं में प्रमुख मुद्दे के रूप में उठाएगा और जनता से राजग सरकार के 20 वर्षों का “रिपोर्ट कार्ड” मांगने के लिए अभियान चलाएगा। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने पिछले विधानसभा चुनाव के दौरान बिहार की एक तरह से “बोली लगाई थी”, लेकिन अब तक उस वादे का कोई हिसाब नहीं दिया गया।
उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री ने पिछले चुनाव में कहा था बताइए, 50 हजार करोड़ चाहिए या 60 हजार करोड़ या सवा लाख करोड़... लेकिन आज तक उस पैसे की एक पाई का भी हिसाब नहीं दिया गया। प्रधानमंत्री और राजग सरकार ने बिहार के विकास के नाम पर केवल “झूठे वादे” किए हैं। बिहार की जनता अब इन नारों और खोखले वादों से ऊब चुकी है। समय आ गया है कि केंद्र सरकार बताए, उसने बिहार के लिए किए गए अपने वित्तीय वादों में से कितनों को पूरा किया। नीतीश कुमार को मंच पर बोलने का समय ही नहीं दिया गया, यह बिहार और बिहारवासियों का अपमान है। बिहार में न्यूनतम आय देश में सबसे कम है, और यह राजग की नीतियों की असफलता को दर्शाता है।
 
 
             
            