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सेना को मिलेंगी 7,000 करोड़ की स्वदेशी तकनीक की तोपें

पाकिस्तान और चीन सीमाओं पर सशस्त्र बलों को मिलेगी रणनीतिक बढ़त
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नयी दिल्ली, 20 मार्च (एजेंसी)

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता वाली सुरक्षा मामलों की मंत्रिमंडलीय समिति (सीसीएस) ने भारतीय सेना के लिए 7,000 करोड़ रुपये की लागत से ‘एडवांस्ड टोड आर्टिलरी गन सिस्टम' (एटीएजीएस) खरीदने के लिए एक बड़े सौदे को मंजूरी दे दी है। यह इस तरह की हॉवित्जर तोप के स्वदेशी निर्माण की दिशा में एक बड़ा कदम है।

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एटीएजीएस पहली स्वदेशी रूप से डिजाइन, विकसित और निर्मित 155 मिमी तोप प्रणाली है तथा इसकी खरीद से भारतीय सेना की अभियानगत क्षमताओं में वृद्धि होगी। इस तोप प्रणाली में 52 कैलिबर लंबी बैरल होती है, जो 45 किलोमीटर तक की मारक क्षमता प्रदान करती है। इस सौदे के तहत कुल 307 तोप और तोप ले जाने वाले 327 वाहन खरीदे जाएंगे। सूत्रों ने बताया कि भारत की पश्चिमी (पाकिस्तान) और उत्तरी (चीन) सीमाओं पर तोप प्रणाली की तैनाती से सशस्त्र बलों को महत्वपूर्ण रणनीतिक बढ़त मिलेगी, जिससे अभियानगत तैयारी और मारक क्षमता में वृद्धि सुनिश्चित होगी।

उन्होंने कहा कि यह मंजूरी स्वदेशी रक्षा विनिर्माण और प्रौद्योगिकी प्रगति में भारत की बढ़ती ताकत को रेखांकित करती है। ‘मेक इन इंडिया' पहल के प्रमाण एटीएजीएस को रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (डीआरडीओ) और भारतीय निजी उद्योग भागीदारों के बीच सहयोग के माध्यम से विकसित किया गया है।

स्वदेशी रक्षा निर्यात का मार्ग होगा प्रशस्त

सूत्रों ने बताया कि इसके 65 प्रतिशत से अधिक उपकरण घरेलू स्तर पर ही प्राप्त किए गए हैं। पुरानी हो चुकी 105 मिमी और 130 मिमी तोपों की जगह एटीएजीएस के आने से भारतीय सेना के तोपखाने के आधुनिकीकरण में महत्वपूर्ण मदद मिलने की उम्मीद है। सूत्रों ने कहा कि तोप प्रणाली के स्वदेशी उत्पादन से वैश्विक रक्षा निर्यात बाजार में भारत की स्थिति मजबूत होने की उम्मीद है, जिससे भविष्य में स्वदेशी रक्षा निर्यात का मार्ग प्रशस्त होगा।

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