राष्ट्रपति पद पर 3 साल : मुर्मू ने कहा- राष्ट्र की प्रगति से सबको जोड़ने का करती हूं प्रयास
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने शुक्रवार को अपने कार्यकाल के 3 वर्ष पूरे करने पर कहा कि वह हमेशा समाज के सभी वर्गों, विशेषकर वंचितों और पिछड़े वर्गों को देश की विकास यात्रा से प्रभावी ढंग से जोड़ने का प्रयास करती हैं। इस उपलक्ष्य में विभिन्न पहलों को शुरू करने के मौके पर अपनी संक्षिप्त टिप्पणी में राष्ट्रपति ने इस बात पर प्रसन्नता व्यक्त की कि भवन दिव्यांगजनों के लिए अधिक सुलभ हो गया है।
मुर्मू (67) ने 25 जुलाई 2022 को 15वें राष्ट्रपति के रूप में पद एवं गोपनीयता की शपथ ली थी। इसके साथ ही वह देश की आदिवासी राष्ट्राध्यक्ष बन गईं थीं। राष्ट्रपति ने कहा कि यह संतोष की बात है कि पिछले तीन वर्षों में कई ऐसे निर्णय लिए गए और कार्य किए गए जिनसे नागरिकों का राष्ट्रपति भवन से जुड़ाव बढ़ा है। हमारा हमेशा से प्रयास रहा है कि समाज के सभी वर्गों, विशेषकर वंचितों और पिछड़े वर्गों को देश की विकास यात्रा से प्रभावी ढंग से जोड़ा जाए। मुर्मू के कार्यालय द्वारा जारी एक बयान के अनुसार, ‘राष्ट्रपति संपदा' दिव्यांगजन-अनुकूल संपदा बन गई है।राष्ट्रपति ने विश्वास व्यक्त किया कि आने वाले दिनों में कई नई पहल की जाएंगी।
पंडित दीनदयाल उपाध्याय राष्ट्रीय शारीरिक दिव्यांगजन संस्थान की 50 सूत्री सिफारिशों पर कार्यान्वयन के बाद राष्ट्रपति भवन, अमृत उद्यान और राष्ट्रपति भवन संग्रहालय दिव्यांगजन अनुकूल परिसर बन गए हैं। मुर्मू ने मार्च 2027 तक राष्ट्रपति भवन को ‘नेट जीरो' बनाने की पहल की शुरुआत की। राष्ट्रपति भवन की आधिकारिक वेबसाइट अब 22 भारतीय भाषाओं में उपलब्ध हैं। राष्ट्रपति ने 250 से अधिक वस्तुओं की नीलामी के लिए ‘ई-उपहार सीजन 2' की भी शुरुआत की।
ई-उपहार राष्ट्रपति सचिवालय का एक नीलामी पोर्टल है जिसका उद्देश्य राष्ट्रपति और भारत के पूर्व राष्ट्रपतियों को भेंट किए गए उपहार और वस्तुओं की नीलामी करना है। नीलामी से प्राप्त सभी आय बच्चों के कल्याण से जुड़ी पहलों को दान की जाएगी। ‘ग्लोबल बॉन्ड्स' शीर्षक वाले एक पृष्ठ पर उनकी विदेश यात्राओं का विवरण दिया गया है, जिसमें बताया गया है कि राष्ट्रपति ने न्यूजीलैंड, फिजी, तिमोर-लेस्ते, अल्जीरिया, मॉरिटानिया, मलावी, पुर्तगाल, स्लोवाक गणराज्य और रोम का दौरा किया।