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सैनिक विधवाओं को कैंटीन से सामान व ईसीएचएस से इलाज नहीं मिलने पर जताया रोष

आर्मी पोस्टल सर्विस वेलफेयर एसो. की बैठक, पिछली कार्यकारिणी को अगले 2 वर्ष के लिए दी सर्वसम्मति से मंजूरी
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अम्बाला शहर, 10 मार्च (हप्र)

नेशनल एक्स सर्विस मैन (आर्मी पोस्टल सर्विस-एपीएस) वेलफेयर एसोसिऐशन की वार्षिक जनरल बॉडी की बैठक सोमवार को पूर्व सूबेदार मेजर देसराज शर्मा की अध्यक्षता में हुई। करीब 3 घंटे तक चली इस बैठक में कई प्रांतों से आए सदस्यों ने भाग लिया। बैठक के अंत में कार्यकारिणी का चुनाव सम्पन्न हुआ। सर्वसम्मती से निर्णय लिया कि लगन एवं परिश्रम से कार्य कर रही पिछली कार्यकारिणी को अगले 2 वर्ष के लिए कार्य करते रहेगी।

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बैठक में एसोसिएशन के जनरल सेक्रेटरी एक्स सूबेदार आत्मा सिंह ने सदस्यों की भलाई से संबंधित भिन्न-भिन्न मुद्दों व केंद्रीय सरकार के विरुद्ध अदालतों में चल रहे केसों की पिछले एक वर्ष के दौरान हुई प्रगति की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि सरकार अदालतों में केस डाले बिना न्यायोचित लाभ नहीं देती। भूतपूर्व सैनिकों को अपना हक लेने के लिए मजबूरन गैर जरूरी केस अदालतों में डालने पड़ते हैं। उन्होंने यह भी बताया कि सैनिक डाक सेवा-एपीएस के भूतपूर्व स्वर्गवासी सैनिकों की विधवाओं को न तो सेना की कैंटीनों (सीएसडी कैंटीन) से सामान खरीदने के लिए समार्ट कार्ड जारी किए जा रहे हैं और न ही ईसीएचएस (भूतपूर्व सैनिकों की डिस्पेंसरियों) से इलाज करवाने के लिए सुविधा दी जा रही है।

इसके लिए सरकार द्वारा यह दलील दी जा रही है कि एपीएस के भूतपूर्व सैनिकों को पेंशन सिविल अनुमान से मिल रही है। इसलिए उपरोक्त सुविधाएं प्रदान नहीं की जा सकती। भले ही एपीएस के भूतपूर्व सैनिकों को भूतपूर्व सैनिकों का पूर्ण दर्जा प्राप्त हो। इस प्रकार एपीएस के भूतपूर्व सैनिकों के साथ वर्षों से सौतेला व्यवहार हो रहा है।

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