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मंजूरियों के चक्कर में गुजर गया एक साल

हरियाणा प्रदेश की बदहाल सड़कों में शामिल सफीदों-जींद स्टेट हाईवे को 7 मीटर से बढ़ाकर दस मीटर चौड़ा बनाने की परियोजना करीब एक वर्ष तक तो मंजूरियों के चक्कर में ही लटकी रही। शामलात जमीनों को बेचने की मंजूरी की...
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हरियाणा प्रदेश की बदहाल सड़कों में शामिल सफीदों-जींद स्टेट हाईवे को 7 मीटर से बढ़ाकर दस मीटर चौड़ा बनाने की परियोजना करीब एक वर्ष तक तो मंजूरियों के चक्कर में ही लटकी रही। शामलात जमीनों को बेचने की मंजूरी की प्रक्रिया में ज्यादा समय खराब हुआ। अब आखिर लोक निर्माण विभाग ने जींद से सफीदों व सफीदों से करसिन्धु तक 79.17 करोड़ रुपए के अनुमानित बजट से तैयार इस परियोजना के लिए लोक निर्माण विभाग ने 10 सितंबर तक ठेकेदारों से निविदाएं आमंत्रित की हैं। आज विभाग के एक अभियंता ने बताया कि जींद से सफीदों तक इस सड़क को तीन मीटर और चौड़ा करके 10 मीटर चौड़ी बनाया जाएगा जबकि सफीदों-पानीपत रोड पर सफीदों से करसिन्धु तक की सड़क की फोरलेनिंग करने का काम इस परियोजना में शामिल है। इस सड़क परियोजना को सिरे चढ़ाने में काटे जाने वाले पेड़ों की भरपाई के लिए पौधारोपण को वन विभाग को जुलाना खंड के शामलो कलां गांव की 15 एकड़, 1 कनाल व 13 मरले, उझाना खंड के खरल गांव की 4 एकड़ तथा अलेवा खंड के बधाना गांव की 22 एकड़, 4 कनाल जमीन दी जानी है। शामलो कलां की जमीन की 17.60 लाख रुपये, खरल की जमीन के लिए 21 लाख रुपए तथा बधाना की जमीन के लिए 23 लाख रुपए प्रति एकड़ रेट निर्धारित किया गया है। इन जमीनों का साढ़े नौ करोड़ रुपए का बजट लोक निर्माण विभाग ने सरकार से मंजूर करा लिया है। इसके शीघ्र रिलीज होने की उम्मीद बताई जा रही है।

जिला वन अधिकारी पवन ग्रोवर के अनुसार पहले लोक निर्माण विभाग वाले जमीन तो वन विभाग के नाम कराएं। फिर केंद्र सरकार की अनुमति पेड़ों के कटान के लिए मिलेगी। जबकि लोक निर्माण विभाग के एक संबंधित अभियंता का कहना था कि वन विभाग ने पहली स्टेज की अप्रूवल भी अभी जारी नहीं की है। वन विभाग की अप्रूवल मिलेगी तभी तो उनके विभाग के नाम इन तीनों गांवों की यह शामलात जमीन ट्रांसफर कराई जाएगी।

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