कांग्रेस के 'वोट चोरी' के मुद्दे में दम होता तो बिहार में 6 सीटों पर नहीं सिमटती : अभय
इनेलो के राष्ट्रीय अध्यक्ष अभय सिंह चौटाला ने कहा कि हरियाणा विधानसभा के 18 दिसंबर से शुरू होने वाले शीतकालीन सत्र को लेकर इनेलो ने तैयारी कर ली है। पार्टी ने 10 से ज्यादा ध्यानाकर्षण प्रस्ताव दिए हैं। कॉलिंग अटेंशन मोशन बड़े महत्वपूर्ण होते है, क्योंकि इस पर गंभीरता पूर्ण चर्चा होती है और खुद जवाब मंत्री को देना होता है। ऐसे में इस सत्र को बढ़ाया जाना चाहिए। इनेलो नेता अध्यक्ष अभय सिंह चौटाला पूर्व विधायक दिलबाग सिंह के निवास पर पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे। उन्होंने कहा कि सत्र छोटा होने के चलते एक विधायक को बोलने के लिए मात्र 5 मिनट का समय मिलता है। ऐसे में वह अपने विधानसभा क्षेत्र की समस्या उठाए या राज्य की। उन्होंने कहा कि हर सत्र में इनेलो ही विपक्ष की भूमिका पूरी तरह से निभाती रही है और आगे भी निभाती रहेगी। कांग्रेस तो सत्र में आकर छोटे-छोटे मुद्दों को लेकर बार-बार वॉक आउट कर सरकार का ही सहयोग करती रहती है। कांग्रेस और भाजपा की मिलीभगत जगजाहिर है।
उन्होंने कहा कि धान घोटाले का मुद्दा प्रमुखता से उठाया जाएगा क्योंकि इसमें करोड़ों रुपये का गबन हुआ है। यूपी का धान हरियाणा की मंडियों में मोटी राशि लेकर खरीदा गया। पिछले 11 वर्षों में इस सरकार ने 21 बड़े घोटाले किए हैं, जिसमें शराब घोटाला, रजिस्ट्री घोटाला, पेपर लीक घोटाला, ढुलाई भराई घोटाला शामिल है। यह घोटाले बिना सरकार के संरक्षण के संभव नहीं। कांग्रेस के 'वोट चोरी' संबंधी सवाल के जवाब में चौटाला ने कहा कि बिहार में राहुल गांधी ने इस मुद्दे पर अनगिनत सभाएं की। अगर इसमें बिहार की जनता को जरा भी सच्चाई लगती तो कांग्रेस मात्र 6 सीटों पर नहीं सिमटती।
अभय चौटाला ने कहा कि पिछले दिनों हुई भारी बारिश से किसानों को भारी नुकसान उठाना पड़ा, लेकिन किसानों को अब तक कोई मुआवजा नहीं मिला। आज भी हरियाणा में लाखों एकड़ जमीन ऐसी है, जहां बारिश का पानी खड़ा है, लेकिन सरकार इस दिशा में कोई ठोस कदम नहीं उठा रही। उन्होंने बताया कि इन सभी विषयों पर विधानसभा में अलग-अलग कॉलिंग अटेंशन दी गई है। साथ ही स्टेडियमों में लगे स्टील के पोलों के रखरखाव में लापरवाही से हुए नुकसान पर भी चर्चा की मांग की गई है।
'बिना वजह पुलिस सुरक्षा नहीं देनी चाहिये'
हरियाणा पुलिस द्वारा कई लोगों की सुरक्षा वापस लिए जाने के सवाल पर चौटाला ने कहा कि बिना वजह किसी को सुरक्षा नहीं दी जानी चाहिए। सुरक्षा व्यवस्था पर बहुत खर्च आता है। उन्होंने कहा कि जब मैंने विधानसभा में सवाल किया था कि किन-किन लोगों को सुरक्षा मुहैया कराई जा रही है तो जवाब मिला था कि 400 लोगों को। इनमें से ज्यादातर के सामने लिखा था थ्रेट। उन्होंने कहा कि सरकार को धमकी देने वालों के खिलाफ कार्रवाई करनी चाहिए। अब जबकि सरकार ने लोगों से सुरक्षा वापस ली गई तो उसका भी कारण बताना चाहिए।
