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गुहला चीका : सातवें दिन भी खतरे के निशान से ऊपर बह रही घग्गर

घग्गर नदी पिछले एक सप्ताह से लगातार खतरे के निशान से ऊपर बह रही है, जिसके चलते इस क्षेत्र में बाढ़ का खतरा मंडरा रहा है। टटियाना पुल पर लगे सरकार गेज के अनुसार रविवार को घग्गर का जलस्तर बढ़...
गुहला चीका में मैंगड़ा-मझेड़ी सड़क पर बहते पानी से गुजरते ग्रामीण। -निस
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घग्गर नदी पिछले एक सप्ताह से लगातार खतरे के निशान से ऊपर बह रही है, जिसके चलते इस क्षेत्र में बाढ़ का खतरा मंडरा रहा है। टटियाना पुल पर लगे सरकार गेज के अनुसार रविवार को घग्गर का जलस्तर बढ़ कर 24.3 फीट पर पहुंच गया, जबकि खतरे का निशान 23 फीट पर है। जिस प्रकार से हर रोज घग्गर का जलस्तर बढ़ रहा है। उससे रिंग बांध टूटने का पूरा पूरा अंदेशा बना हुआ है। हालांकि स्थानीय प्रशासन व घग्गर के आसपास के ग्रामीण रिंग बांध को सुरक्षित बनाए रखने के लिए दिन-रात मेहनत कर रहे हैं। इस सबके बावजूद घग्गर के आसपास बसे गांव अरनौली, बाउपुर, सिहाली, रत्ता खेड़ा, मंझेड़ी, मैंगड़ा, भूसलां, बुडऩपुर, मोहनपुर, भागल, भूंसला, ढंढोता, कमहेड़ी, खंबेहड़ा, सरोला, रत्ताखेड़ा लुकमान, बुबकपुर, दाबा, चाबा आदि 3 दर्जन गांवों की हजारों एकड़ फसलें पिछले एक स्पताह से पानी में डूबी हुई हैं और अब इन फसलों के बचने की किसान उम्मीद छोड़ चुके हैं। इन गांवों में धान की फसलों के साथ-साथ पशुओं का चारा व सब्जी की फसलें भी बर्बाद हो गई हैं, जिससे लोगों के सामने पशुओं का पेट भरने की समस्या आन खड़ी है। इन गांवों के आसपास बसे कई डेरे भी पानी की जद में हैं।

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