डीसी और सीजेएम ने किया भूना का दौरा, राहत केंद्र में लोगों का हाल जाना
मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी व जिला विधिक सेवाएं प्राधिकरण की सचिव गायत्री ने गांव भूना में जलभराव से प्रभावित लोगों के लिए बनाए वैकल्पिक राहत केंद्रों का निरीक्षण किया और पीड़ितों से बातचीत की। उन्होंने लोगों से प्रशासन द्वारा मुहैया करवाई जा रही राहत सेवाओं की जानकारी ली। साथ ही उन्होंने भूना में जलभराव से प्रभावित क्षेत्रों का भी दौरा किया। उन्होंने कहा कि भविष्य में यदि कोई भी आपात स्थिति उत्पन्न होती है तो नागरिक तुरंत जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के नंबर पर संपर्क करके किसी भी प्रकार की कानूनी सहायता ले सकते हैं। उन्होंने बताया कि जिला विधिक सेवा प्राधिकरण की ओर से पीड़ितों की सहायता के लिए एक कोर ग्रुप बनाया गया है। उन्होंने कहा कि मुआवजा हेतु पोर्टल पर अप्लाई करने, सरकारी योजनाओं के लाभ हेतु फॉर्म भरने व मुआवजा हेतु इंश्योरेंस कंपनियां के विरुद्ध अगर किसी भी तरह की कोई कानूनी सहायता की आवश्यकता हो तो प्राधिकरण की ओर से पीड़ितों की सहायता के लिए बनाए कोर ग्रुप में अधिवक्ता, पैरा लीगल वॉलिंटियर्स से संपर्क कर सकते हैं। इसके अलावा डीसी डॉ. विवेक भारती ने मंगलवार को पदभार संभालते ही जिले के आला अफसरों के साथ भूना में जलभराव से प्रभावित हुए इलाकों का दौरा किया। उन्होंने गांव रामसरा, ढाबी खुर्द और जांडवाला बागड़ में बनी हिसार-घग्गर ड्रेन का निरीक्षण किया और वहां मौजूद किसानों और ग्रामीणों से बातचीत कर स्थिति की जानकारी ली। डीसी ने रंगोई नाला और चांदपुरा क्षेत्रों का भी दौरा किया और वहां घग्गर नदी के बहाव और जलस्तर की स्थिति के बारे में अधिकारियों से विस्तृत जानकारी ली। डॉ. भारती ने किसानों से फसलों के नुकसान की रिपोर्ट 15 सितंबर तक ई-क्षतिपूर्ति पोर्टल पर दर्ज करवाने को कहा।