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वित्त विभाग की अधिसूचना से भड़के कर्मचारी संगठन

हर महीने 15 से 20 हजार तक का नुकसान होने का अनुमान
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हिमाचल प्रदेश सरकार के वित्त विभाग की हालिया अधिसूचना ने कर्मचारियों में गहरी नाराजगी पैदा कर दी है। इसमें साल 2022 से पहले नियुक्त कर्मचारियों को दो साल की सेवा के बाद मिलने वाले उच्च वेतनमान को समाप्त कर दिया गया है। इस आदेश के खिलाफ अब सचिवालय सेवाएं कर्मचारी संगठन, लैंड रिकार्डस निदेशालय यूनियन के साथ-साथ हिमाचल प्रदेश एनजीओ फेडरेशन और गैर शिक्षक कर्मचारी महासंघ भी खुलकर विरोध में उतर आए हैं। संगठनों ने मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू से अधिसूचना तुरंत वापस लेने की मांग की है।

गैर शिक्षक कर्मचारी महासंघ के अध्यक्ष त्रिलोक ठाकुर ने कहा कि कुछ अधिकारी मुख्यमंत्री को गुमराह कर रहे हैं, जिससे कर्मचारियों के हितों के विरुद्ध फैसले हो रहे हैं। उन्होंने विश्वास जताया कि मुख्यमंत्री इस निर्णय को पलटेंगे, लेकिन चेतावनी दी कि यदि ऐसा नहीं हुआ तो महासंघ आंदोलनात्मक कदम उठाने को मजबूर होगा। एनजीओ फेडरेशन और महासंघ की वर्चुअल बैठक में दावा किया गया कि इस निर्णय से कर्मचारियों को हर महीने 15 से 20 हजार रुपए तक का आर्थिक नुकसान होगा। संगठनों ने इसे ‘अन्यायपूर्ण, अव्यावहारिक और पूरी तरह कर्मचारी विरोधी’ करार दिया। तय किया गया कि सोमवार को प्रतिनिधिमंडल मुख्यमंत्री, मुख्य सचिव और वित्त सचिव से मिलकर अधिसूचना रद्द करने की मांग करेगा।

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बैठक में महासंघ के वरिष्ठ पदाधिकारी त्रिलोक ठाकुर, राजीव चौहान, एलडी चौहान, नृपजीत सिंह ठाकुर, रविंदर मेहता, मनीष गुलरिया, सतीश कुमार, मोती राम, राजेश राव, महेश कुमार और हितेंद्र ठाकुर सहित शिक्षा, स्वास्थ्य, राजस्व, जल शक्ति, बिजली, परिवहन और पुलिस विभागों के प्रतिनिधि शामिल हुए।

फैसला कर्मचारियों पर सीधा प्रहार

एनजीओ फेडरेशन के अध्यक्ष प्रदीप ठाकुर ने कहा कि यह आदेश कर्मचारियों के परिवार, बच्चों की शिक्षा, स्वास्थ्य और आर्थिक स्थिति पर गहरा असर डालेगा। उन्होंने चेतावनी दी कि यदि सरकार आदेश वापस नहीं लेती तो कलमबंद हड़ताल जैसे कठोर आंदोलन शुरू किए जाएंगे। महासंघ के महासचिव भरत शर्मा ने कहा कि यह आदेश कर्मचारियों का मनोबल तोड़ेगा और प्रशासनिक व्यवस्था प्रभावित होगी। हालांकि अधिसूचना में पूर्व भुगतान की वसूली न करने की बात कही गई है, लेकिन भविष्य का भारी नुकसान कर्मचारियों के लिए गंभीर चिंता का विषय है।

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