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देवभूमि संघर्ष समिति ने की प्रदर्शन कर मस्जिद की बिजली-पानी काटने की मांग

शिमला 20 मई (हप्र) हिमाचल प्रदेश की राजधानी शिमला के संजौली क्षेत्र में स्थित विवादित मस्जिद को लेकर एक बार फिर माहौल गरमा गया है। मंगलवार को देवभूमि संघर्ष समिति के कार्यकर्ताओं ने मस्जिद के पास सड़क पर हनुमान चालीसा...
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शिमला 20 मई (हप्र)

हिमाचल प्रदेश की राजधानी शिमला के संजौली क्षेत्र में स्थित विवादित मस्जिद को लेकर एक बार फिर माहौल गरमा गया है। मंगलवार को देवभूमि संघर्ष समिति के कार्यकर्ताओं ने मस्जिद के पास सड़क पर हनुमान चालीसा का पाठ किया और प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी की। प्रदर्शनकारियों ने मस्जिद का बिजली-पानी का कनेक्शन तत्काल काटने की मांग की।

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शाम करीब साढ़े चार बजे समिति के कार्यकर्ताओं ने संजौली मस्जिद की ओर कूच किया लेकिन पुलिस ने उन्हें मस्जिद से कुछ दूरी पर ही रोक दिया। इस दौरान माहौल कुछ देर के लिए तनावपूर्ण हो गया। पुलिस की सख्ती के चलते प्रदर्शनकारी वहीं सड़क पर बैठ गए और धार्मिक पाठ शुरू कर दिया।

देवभूमि क्षत्रिय संगठन से जुड़े विजय शर्मा ने आरोप लगाया कि नगर निगम आयुक्त के स्पष्ट आदेशों के बावजूद प्रशासन कार्रवाई में टालमटोल कर रहा है। उन्होंने कहा कि यह मस्जिद अवैध रूप से बनी है, जिसे कोर्ट और नगर निगम दोनों ने हटाने का आदेश दिया है। इसके बावजूद अब तक बिजली और पानी की सप्लाई जारी है जो प्रशासन की लापरवाही को दर्शाता है।

निगम आयुक्त ने जारी किए थे गिराने के आदेश

नगर निगम आयुक्त ने 4 मई को संजौली मस्जिद को अवैध करार देते हुए इसे पूरी तरह से गिराने के आदेश दिए थे। इससे पहले 5 अक्टूबर 2024 को मस्जिद की ऊपरी तीन मंजिलों को तोड़ने का आदेश दिया गया था। कोर्ट के निर्देशों के अनुसार, यह मस्जिद वक्फ बोर्ड को अपने खर्च पर हटानी है। तोड़फोड़ की कार्रवाई जारी है, लेकिन बिजली-पानी की सप्लाई अभी चालू है, जिसे लेकर हिंदू संगठनों में रोष है।गौरतलब है कि 31 अगस्त 2024 को शिमला के मेहली क्षेत्र में दो समुदायों के बीच हुई हिंसक झड़प के बाद यह मामला सामने आया था। मारपीट के आरोपी एक समुदाय के लोग संजौली मस्जिद में जाकर छिप गए थे। इसके बाद 1 सितंबर को बड़ी संख्या में स्थानीय लोगों ने मस्जिद के बाहर प्रदर्शन किया। इस घटना ने न केवल शिमला बल्कि पूरे देश में राजनीतिक और धार्मिक माहौल को प्रभावित किया था।

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