बीबीएमबी मामला राजस्थान, दिल्ली और पंजाब हिस्सेदारी की रकम देने को तैयार
शिमला, 4 मार्च (हप्र)
हिमाचल को सालों बाद पंजाब पुनर्गठन कानून के तहत बीबीएमबी में हिस्सेदारी की रकम मिलने की उम्मीद जगी है। बीबीएमबी में हिस्सेदार राज्य राजस्थान, दिल्ली व पंजाब हिस्सेदारी की रकम देने को तैयार हैं। हरियाणा के साथ हिस्सेदारी के मुद्दे पर वार्ता जारी है। कृषि मंत्री चंद्र कुमार ने रिसोर्स मोबिलाइजेशन कमेटी की बैठक के बाद शिमला में पत्रकारों के साथ अनौपचारिक बातचीत में यह बात कही। गौरतलब है कि प्रदेश पर बढ़ते कर्ज के बोझ से हिमाचल की अर्थव्यवस्था पटरी से उतर चुकी है। इसे फिर से पटरी पर लाने के लिए मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने बीते साल रिसोर्स मोबिलाइजेशन कमेटी का गठन किया था। उप मुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री की अध्यक्षता में गठित कमेटी की मंगलवार को शिमला में बैठक हुई। बैठक में कमेटी के सदस्यों कैबिनेट मंत्री चंद्र कुमार, हर्षवर्धन चौहान, राजेश धर्माणी व अनिरुद्ध सिंह उपस्थित थे। बैठक में प्रदेश में आमदन बढ़ाने के मुद्दे पर चर्चा की गई। आमदन बढ़ाने के रोड मैप पर चर्चा के साथ साथ देनदारियों के लिए बजट को रेगुलेट करने तथा बोर्ड, निगमों और कर्मचारियों के युक्तिकरण के मुद्दे पर भी चर्चा हुई।
बैठक के बाद कृषि मंत्री चंद्र कुमार ने पत्रकारों के साथ अनौपचारिक बातचीत में बताया कि पूर्व सरकार ने देनदारियों का भुगतान नहीं किया। इनका भुगतान भी वर्तमान सरकार को करना पड़ रहा है। कर्मचारियों व पेंशनरों के एरियर का भुगतान नहीं किया गया। उन्होंने कहा कि बीबीएमबी में हिस्सेदारी का मसला सालों से लंबित है। सुप्रीम कोर्ट के आदेशों के बाद प्रदेश सरकार बीबीएमबी में हिस्सेदारी की करोड़ों की रकम पड़ोसी राज्यों से लेने के लिए प्रयास कर रही है। पंजाब पुनर्गठन कानून के तहत बीबीएमबी में हिमाचल की 7.19 फीसद हिस्सेदारी है। बीबीएमबी में हिस्सेदार 4 राज्यों में से तीन हिमाचल का बकाया देने को राजी हो गए हैं।