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पानीपत में यमुना पुल बॉर्डर पर खतरे के निशान तक पहुंचा पानी

यमुना तटबंध पर पत्थरों की ठोकरें लगवाने की मांग
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पानीपत के गांव राणा माजरा में सोमवार को यमुना नदी का बढ़ा जलस्तर।-निस
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पानीपत, 12 अगस्त (हप्र)

पानीपत जिला में यमुना नदी का जल स्तर सनौली यमुना पुल बॉर्डर पर सोमवार को खतरे के निशान (230) के पास बह रहा है, हालांकि खतरे का निशान 231.50 अभी कुछ दूर है लेकिन लगातार पहाड़ों पर हो रही बारिश से इस नदी का जलस्तर और बढ़ने की आशंका है। हथिनी कुंड बैराज से यमुना में अलग-अलग घंटों में 20 से लेकर 35 हजार क्यूसिक तक पानी छोड़ा गया है।

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बैराज से छोड़ा गया पानी तकरीबन 24 घंटे में पानी जिला की सीमा में प्रवेश करता है लेकिन यदि यमुना में पानी का जल स्तर ज्यादा हो तो फिर पानी 24 घंटे से भी पहले पहुंच जाता है। सिंचाई विभाग के अधिकारियों के अनुसार सोमवार को यमुना में करीब दो लाख क्यूसिक पानी बह रहा है।

पानीपत में जिस गांव राणा माजरा से यमुना जिला की सीमा में प्रवेश करती है, ग्रामीणों के अनुसार सोमवार को वहां पर मिट्टी का कटाव हुआ है, जिससे ग्रामीणों में बाढ़ को लेकर डर बना हुआ है। हालांकि सिंचाई विभाग के अधिकारी यमुना के पानी व तटबंध पर पूरी नजर रखे हुए हैं। बता दें कि इस बार पत्थरों की यमुना तटबंध पर 12 नयी ठोकरें व 12 पुरानी ठोकरों की मरम्मत करनी थी लेकिन समय पर पत्थर नहीं पहुंच पाया तो सिंचाई विभाग द्वारा जिन स्थानों पर पत्थरों की ठोकरें लगनी थी, उन स्थानों पर मिट्टी के कट्टे भरकर अस्थाई रूप से स्टड बना दिये गये। लेकिन यमुना में अब पानी ज्यादा आना शुरू हुआ है तो मिट्टी के कट्टों के स्टड पानी में डूब गये हैं। ग्रामीण मिट्टी के कट्टों के स्थान पर पत्थरों की ही मजबूती के साथ ठोकरें लगाने की मांग कर रहे हैं। सिंचाई विभाग के जेई मोहित ने बताया कि पत्थरों की पैमाइश करके जल्द ही जरूरत के अनुसार ठोकरें लगाई जाएगी। उन्होंने विभाग के सीनियर अधिकारियों को इस बारे में अवगत करवा दिया गया है।

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