राजेश शर्मा/हप्र
फरीदाबाद, 16 जुलाई
सूरजकुण्ड पयर्टन स्थल के होटल राजहंस में प्रदेश भाजपा के तीन दिवसीय प्रशिक्षण शिविर के दूसरे दिन शनिवार को सात सत्र व एक योग सत्र आयोजित किया गया। जिसमें प्रदेशाध्यक्ष ओपी धनखड़, केन्द्रीय राज्यमंत्री कृष्णपाल गुर्जर, शिव प्रकाश, रविन्द्र राजू, वी.सतीश प्रो. रामबिलास शर्मा, महेश चंद शर्मा, रतनलाल कटारिया, सुनीता दुग्गल, ज्ञानचंद गुप्ता, गुलशन भाटिया, संदीप सिंह ने कार्यकर्ताओं को राजनीति के पाठ पढ़ाए। सभी नेताओं ने अलग-अलग विषयों पर कार्यकर्ताओं में जोश भरा।
प्रदेशाध्यक्ष धनखड़ की साढ़े नौ बजे ‘क्लास’ शुरू हुई। धनखड़ ने एक सफल राजनेता का किस तरह निर्माण किया जाए इस विषय पर विस्तार से बताया। उन्होंने कहा कि एक राजनेता की प्रथम सीढ़ी ही अगर ठीक होगी तो वह समाज व देश के विकास में अपना भरपूर योगदान देता है। उन्होंने शिविर में मौजूद सभी वरिष्ठ पदाधिकारियों, पूर्व मंत्रियों व वर्तमान मंत्रियों से आह्वान किया कि वे पार्टी के लिए नए नेताओं के निर्माण में सहयोग दें। नेतृत्व और व्यक्तित्व विकास विषय पर बोलते हुए धनखड़ ने कहा कि हमारे कार्यकर्ता श्रेष्ठ हैं, इसलिए भाजपा की लीडरशिप पूरी दुनिया में उभर रही है। हमें जनता को अच्छा देना चाहिए तभी हम अच्छा प्राप्त कर सकते हैं। फॉलोअर, नेता और कार्यकर्ताओं के बीच के अंतर को समझाते हुए धनखड़ ने कहा कि जब नेता कुर्सी पर बैठ जाता है तो उसको फॉलोअर घेर लेते हैं, सरकार चली जाती है तो फॉलोअर भी चले जाते हैं, लेकिन कार्यकर्ता हमेशा नेता का भला सोचता है, इसलिए वह डटा रहता है। इसलिए कार्यकर्ता श्रेष्ठ है।
धनखड़ ने कहा कि अपने सर्वश्रेष्ठ गुण को अभिव्यक्त करना नेता और कार्यकर्ताओं को उभारता है। उन्होंने कहा नेता पहले समझे, फिर समझाये, कम बोले और ज्यादा सुने, नेता साहसी व सकारात्मक हो। सभी को साथ लेकर चलने वाला हो और सर्वस्पर्शी भी हो। नेता को चाहिए कि कार्यकर्ता का पूरा सम्मान करे और अभिभावक की तरह उसकी देखभाल करे। एक बेस्ट नेता की सोच सदैव पॉजिटिव होनी चाहिए, नेता सहनशील होना चाहिए, विजनरी होना चाहिए, टास्क मैनेजमेंट में दक्ष हो और कार्यकर्ताओं को उनके कार्य का श्रेय भी देने वाला बनें।
उन्होंने कहा कि नेतृत्व, व्यक्तित्व और अच्छी छवि नेता के लिए महत्वपूर्ण होती है। हम अपनी छवि खुद बिगाड़ते और सुधारते हैं। हमारे नेता का व्यक्तित्व सुदृढ़ होना चाहिए। नेताओं को विचार, भावना प्रबंधन के टूल विकसित करने चाहिए। एक नेता में विश्वास और नियम दोनों की जरूरत है और इनका इस्तेमाल नियम के हिसाब से करें।
सांस्कृतिक राष्ट्रवाद ही अखंड भारत का पहला चरण : महेश
राष्ट्रीय प्रशिक्षण प्रमुख एवं एकात्म मार्ग दर्शन एवं संभाग अनुसंधान व विकास प्रतिष्ठान के अध्यक्ष महेश चंद शर्मा ने सांस्कृतिक राष्ट्रवाद विषय पर रखे गए सत्र में अपने विचार व्यक्त किए। उन्होंने कहा कि 1947 का बंटवारा उस समय की बहुत बड़ी विभिषिका थी। इस विभाजन विभिषिका का सबसे प्रमुख कारण मजबूत नेतृत्व का न होना था। सात दशक के बाद पहली बार देश को ऐसा प्रधानमंत्री मिला है, जिसने इस विभिषिका को समझा और इस बंटवारे को विभिषिका का नाम दिया। अब भारत 14 अगस्त 2022 को इसे विभिषिका स्मृति के रूप में मनायेगा। उन्होंने कहा कि सांस्कृतिक राष्ट्रवाद ही अखण्ड भारत का सार्थक चरण है। उन्होंने कहा भूसांस्कृतिक राष्ट्रवाद में मानवता का विकास निहित है। आज दुनिया में राष्ट्रवाद की कोई परिभाषा नहीं है। अंग्रेजों ने साम्राज्यवाद को जन्म दिया और अलग-अलग नेशन की थ्योरी गढ़ी गई। उन्होंने कहा कि कूटनीतिक और राजनीतिक फायदे के लिए भारत को एक उपमहाद्वीप कहा गया। संसार में केवल एक ही उपमहाद्वीप है और वह भारत। लेकिन यह सब कूटनीतिक और राजनीतिक स्वार्थ के चलते किया गया। सांस्कृतिक राष्ट्रवाद को अगर पूरी तरह समझा जाये तो वह है भू-सांस्कृतिक राष्ट्रवाद है। पाकिस्तान, श्रीलंका, अफगानिस्तान, बांग्लादेश भारतीय उपमहादीप के भूखंड हैं। जैसे शरीर अलग-अलग अंगों का समूह है वैसे ही विश्व एक राष्ट्रों का समूह है।
केंद्रीय मंत्री कृष्णपाल गुर्जर ने कहा : अखंड भारत ही पीएम का मकसद
केंद्रीय राज्य मंत्री कृष्णपाल गुर्जर ने कहा कि श्रेष्ठ भारत और अखण्ड भारत ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का एकमात्र मकसद है। पीएम मोदी के नेतृत्व में लोगों के जीवन में काफी बदलाव आया है। दुनिया में भारत की छवि को भी बेहतर बनाने में मोदी के कार्यों ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। इस तीसरे सत्र की अध्यक्षता पूर्व मंत्री मनीष ग्रोवर ने की। गुर्जर ने कार्यकर्ताओं से अपील करते हुए कहा कि वे मोदी व मनोहर सरकार द्वारा किये गए विकास कार्यों से आए बदलावों को जनता तक पहुंचाने के ध्वज वाहक बनें। इस मौके पर उन्होंने विपक्ष पर भी तंज कसा और कहा कि विपक्ष के पास गर्व करने के लिए कुछ नहीं है। हमारा सौभाग्य है कि हमें नरेंद्र मोदी जैसा नेता मिला जिस पर हमें गर्व है।
गृह मंत्री विज ने दिया संदेश : शिविर से कार्यकर्ताओं में भरेगी ऊर्जा
हरियाणा के गृह एवं स्वास्थ्य मंत्री अनिल विज ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी ने सदा ही परिवारवाद से परहेज किया है और हमेशा से हमारी टैगलाइन रही है कि परिवारवाद की राजनीति इस देश से खत्म होनी चाहिए, परिवारवाद की राजनीति ने देश को नुकसान पहुंचाया है। विज ने कहा कि इस चिंतन श्िाविर से कार्यकर्ताओं में ऊर्जा भरेगी और जो यहां से सीख कर जा रहे हैं, आगे जाकर लोगों को बताएंगे। उन्होंने कहा कि इस शिविर का मकसद भाजपा की विचारधारा के साथ लोगों को जोड़ना है। इस प्रशिक्षण शिविर को चुनाव के साथ जोड़कर नहीं देखना चाहिए अभी कोई चुनाव भी सामने नहीं है और यहां पर पार्टी के बारे में ही बताया जा रहा है।
भारत को सुपर पावर नहीं, जगत गुरु बनाना है…
भारत माता की पूरे विश्व में जय-जयकार कराना तथा मजबूत अर्थव्यवस्था बनाना ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का लक्ष्य है। राष्ट्रीय सह संगठन महामंत्री शिव प्रकाश ने यह बात कही। विजनरी नेतृत्व, आत्मनिर्भर भारत, अमृतकाल की तैयारी विषय पर बोलते हुए शिव प्रकाश ने कहा कि भारत की अर्थव्यवस्था को 16 ट्रिलियन डॉलर तक ले जाना है। यह तभी संभव होगा जब देश में ग्राम उद्योग, कुटीर उद्योग को बढ़ावा मिले, देश आत्मनिर्भर हो। इन्हीं सभी उद्देश्यों को प्राप्त करने के लिए पीएम मोदी दूरदृष्टि से काम लेते हुए कार्य कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि भारत को सुपर पावर नहीं जगत गुरू बनाना हमारा लक्ष्य है। भारत ने कभी सुपरपावर बनने की नहीं सोची। कोरोना संकट के समय भारत ने दुनिया को मुफ्त दवाइयां दी। हम शोषण नहीं पोषण पर विश्वास करते हैं।
हमारी भावना व्यक्ति निर्माण से राष्ट्र निर्माण…
राष्ट्रीय संगठक वी. सतीश ने पांचवें सत्र में ‘भाजपा विचार, हमारी कार्यपद्धति और हमारे व्यवहार में’ विषय पर अपना संबोधन रखा। उन्होंने कहा कि कार्यकर्ता निर्माण तभी संभव है जब कार्य पद्धति से जुड़ी बातें व्यवहार में लायेंगे। भाजपा आज विश्व का सबसे बड़ा संगठन है, इसका कारण यह है कि भाजपा के पास कार्यपद्धति से तैयार कार्यकर्ता हैं। वी. सतीश ने कहा कि कार्यपद्धति आचरण का विषय है। केवल बोल कर नहीं बल्कि आचरण में अच्छी बातें लाकर ही एक अच्छा कार्यकर्ता बना जा सकता है।